बिगब्रेकिंग –  मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दी महिला स्वयं सहायता समूहों को 118 करोड़ 35 लाख की सौगात, कहा सरकार नो पेंडेन्शी की नीति पर कर रही है कार्य

 *सीएम पुष्कर सिंह धामी का महिला स्वयं सहायता समूहों और राज्य सरकार की स्वरोजगार योजनाओं से जुड़े लाभार्थियों को बड़ी सौगात*

*कोरोना काल में प्रभावित होने के कारण 118 करोड़ 35 लाख रूपए का राहत पैकेज*
*राज्य के 7 लाख 54 हजार 984 लाभार्थियों को मिलेगी राहत*

*मुख्यमंत्री ने उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़े महिला स्वयं सहायता समूहों से वर्चअल संवाद में की घोषणा*

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़े महिला स्वयं सहायता समूहों के साथ वर्चुअल संवाद में कोरोना काल में प्रभावित महिला स्वयं सहायता समूहों और राज्य सरकार की स्वरोजगार योजनाओं से जुड़े लाभार्थियों के लिए 118 करोड़ 35 लाख रूपए के राहत पैकेज की घोषणा की। इससे राज्य में 07 लाख 54 हजार 984 लोग लाभान्वित होंगे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड में विभिन्न स्वयं सहायता समूहों द्वारा सराहनीय कार्य किया जा रहा है। राज्य की अर्थव्यवस्था में इनका काफी योगदान रहा है। कोविड महामारी के दृष्टिगत इनके क्रियाकलापों में प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है। इन स्वयं सहायता समूहों में मुख्यतः राज्य की महिलाएं कार्य करती हैं, जो कि पहाड़ की अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। कोविड महामारी के कारण इन महिला स्वयं सहायता समूहों और राज्य सरकार की स्वरोजगार योजनाओं के लाभार्थियों के व्यवसाय पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है। इन्हें राहत देने के लिए इस पैकेज का निर्णय लिया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस पैकेज के अंतर्गत उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन एवं आई.एल.एस.पी. के अन्तर्गत गठित 30,365 समूहों को उनके द्वारा लिए ऋण पर 24.82 करोड़ रूपये की ब्याज प्रतिपूर्ति राज्य सरकार द्वारा की जाएगी।

. उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अन्तर्गत गठित 159 सी.एल.एफ. को प्रति सी.एल.एफ. 5.00 लाख रूपये का एक मुश्त अनुदान दिया जायेगा। जिसकी अनुमानित लागत रू0 7.95 करोड़ होगी।
उत्तराखण्ड राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन एवं आई.एल.एस.पी. के अन्तर्गत गठित सक्रिय स्वयं सहायता समूहों को स्वावलंबन हेतु 06 माह के लिये आर्थिक सहायता भी प्रदान की जायेगी। जिसमें कुल 42989 समूहों को 2000 रूपये प्रतिमाह की दर से कुल 51.59 करोड़ रूपये की सहायता दी जाएगी।

मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना में लाभार्थियों को 5 हजार रूपए प्रतिमाह की दर से 6 माह के लिए लिए गए ऋण पर ब्याज प्रतिपूर्ति दी जाएगी। इस पर कुल लागत 9 करोड़ रूपए आएगी।

मुख्यमंत्री सौर स्वरोजगार योजना के ऋण खाता धारकों को 06 माह के लिए ब्याज प्रतिपूर्ति सहायता उपलब्ध कराई जायेगी। इसकी अनुमानित लागत एक करोड़ रूपये है।

युवा कल्याण एवं प्रान्तीय विकास दल के युवक मंगल दल और महिला मंगल दलों को स्वावलम्बन हेतु 06 माह के लिए आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी। इसमें 20 हजार समूहों को 2 हजार रूपए प्रति माह की दर से आर्थिक सहायता दी जाएगी। जिस पर कुल 24 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

*आत्मनिर्भर भारत में महिला स्वयं सहायता समूहों का महत्वपूर्ण योगदान*

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने वर्चुअल माध्यम से प्रदेश के सभी 13 जनपदों एवं 95 ब्लॉक से जुड़े स्वयं सहायता समूहों से वर्चुअल संवाद करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के आत्मनिर्भर भारत के सपने को पूरा करने के की दिशा में देश तेजी से आगे बढ़ रहा है। महिला स्वयं सहायता समूहों का इसमें महत्पूर्ण योगदान है। राज्य के विकास में मातृ शक्ति जिस मनोयोग से कार्य कर रही है, यह सबके लिए प्रेरणा है। ऊर्जा एवं उत्साह का संचार इसी तरह बना रहे। हमारी मातृ शक्ति पर बड़ी जिम्मेदारी होती है।

*रोजगार और स्वरोजगार सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता*

मुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्य सेवक की शपथ लेते ही उन्होंने प्रदेश के युवाओं एवं मातृ शक्ति को रोजगार एवं स्वरोजगार से जोड़ने के प्रयास शुरू कर दिये हैं। राज्य में अनेक सरकारी पदों पर भर्ती प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। सभी विभागों को स्वरोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए निर्देश दिये गये हैं। जिसकी लगातार मॉनिटरिंग भी की जा रही है। राज्य सरकार का प्रयास है कि समाज के अन्तिम पंक्ति के लोगों तक योजनाओं का लाभ पहुंचे। सरकार जनता के साथ साझीदार के रूप में कार्य कर रही है।

*प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में पिछले सात वर्षों में राज्य में अभूतपूर्व कार्य*

मुख्यमंत्री ने कहा कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र के नेतृत्व में पिछले सात सालों में केन्द्र सरकार से राज्य को हर क्षेत्र में भरपूर सहयोग मिला है। सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा, पेयजल एवं केन्द्र सरकार द्वारा चलाई जा रही अनेक जन कल्याणकारी योजनाओं से प्रदेश को मदद मिली है। केन्द्र सरकार की सभी योजनाओं को विभिन्न माध्यमों से जन-जन तक पहुंचाया जा रहा है। विश्व की सबसे बड़ी स्वास्थ्य योजना आयुष्मान भारत योजना वरदान साबित हुई है। केन्द्र सरकार के सहयोग से राज्य में रेल एवं सड़क कनेक्टिविटी में अनेक नये आयाम स्थापित हुए।

ग्राम्य विकास मंत्री स्वामी यतीश्वरानन्द ने कहा कि स्वयं सहायता समूहों द्वारा राज्य में सराहनीय कार्य किया जा रहा है। इनके लिए उत्पादों की बिक्री के लिए उचित व्यवस्था हो। अधिकारियों द्वारा समूहों के बीच जाकर उनकी समस्याएं सुनी जाय और उनका समाधान किया जाय। अपने घर से कार्य कर आजीवका को बढ़ाने के लिए स्वरोजगार अच्छा माध्यम है।

*13 जनपदों के महिला स्वयं सहायता समूहों ने मुख्यमंत्री से साझा किया अनुभव*

कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने सभी जनपदों के महिला स्वयं सहायता समूहों से बातचीत की। उन्होंने महिला स्वयं सहायता समूहों के कार्यों और उन्हें आ रही परेशानियों के बारे में जानकारी ली। साथ ही राज्य सरकार को और क्या सुधार करने चाहिए, इस पर महिला स्वयं सहायता समूहों के सुझाव भी प्राप्त किए। अधिकांश ने अपने व्यवसाय को आगे बढ़ाने के लिए और अधिक उन्नत मशीनें उपलब्ध करवाए जाने और उत्पादों की मार्केटिंग की व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने का आग्रह किया।
अल्मोड़ा की भगवती स्वयं सहायता समूह की श्रीमती माया देवी ने कहा कि उन्होंने बकरीपालन के लिए 21 हजार रूपये का लोन लिया था। अभी तक वह 42 हजार रूपये की बकरी बेच चुकी हैं। अभी उनके पास 38 बकरियां हैं। उनके समूह में 07 सदस्य ये कार्य कर रहे हैं।
बागेश्वर की श्रीमती आशा देवी ने कहा उनके क्लस्टर द्वारा सिलाई-बुनाई का कार्य किया जा रहा है। आर्डर पर सरकारी स्कूलों के बच्चों के लिए ड्रेस बनाई जा रही है। कलस्टर में 266 महिलाएं जुड़ी हैं। एक महिला प्रतिमाह 08 से 10 हजार रूपये कमा रही है।
चमोली जनपद के जोशमठ की श्रीमती नर्मदा देवी ने कहा कि उनके तपोभूमि क्लस्टर द्वारा पंचबद्री के लिए प्रसाद बनाया जा रहा है। जिसकी ऑनलाईन बिक्री भी की जा रही है।
चम्पावत में प्रगति संगठन द्वारा लोहे की कड़ाई बनाई जा रही है। लोहाघाट में इसके लिए ग्रोथ सेंटर बनाया गया है। इस कार्य से 40 महिलाएं जुड़ी हैं।
देहरादून के डोईवाला विकासखण्ड की सुश्री रीना रावत ने कहा कि उनके समूह द्वारा मशरूम उत्पादन एवं फूड प्रोसेसिंग का कार्य किया जा रहा है। जिससे अच्छा फायदा हो रहा है।
बहादराबाद, हरिद्वार की श्रीमती पूनम शर्मा ने कहा कि उनके समूह द्वारा हरिद्वार के विभिन्न मंदिरों के लिए प्रसाद बनाया जा रहा है।
नैनीताल की श्रीमती मुमताज ने कहा कि उनके क्लस्टर में अनेक ऑर्गेनिक उत्पाद बनाये जा रहे हैं। इससे 1500 महिलाएं जुड़ी हैं।
पौड़ी की श्रीमती बबीता ने कहा कि उनके उमंग कलस्टर द्वारा मंडवे के बिस्कुट, लड्डू बनाये जा रहे हैं, ये उत्पाद आंगनबाड़ी केन्द्रों को सप्लाई किये जा रहे हैं।
ऊखीमठ, रूद्रप्रयाग की श्रीमती सरिता देवी ने कहा कि उनके दुर्गा स्वयं सहायता समूह द्वारा श्री केदारनाथ मंदिर के लिए प्रसाद एवं दुग्ध आधारित उत्पाद तैयार किये जा रहे हैं।
टिहरी से कुंजापुरी क्लस्टर से जुड़ी श्रीमती नीलम देवी ने कहा कि स्थानीय दालों, अचार एवं मसालों का कार्य किया जा रहा है। उनके क्लस्टर से 365 महिलाएं जुड़ी हैं।
खटीमा, ऊधमसिंह नगर की श्रीमती शिक्षा देवी ने कहा कि उनके समूह द्वारा मुर्गी पालन, बकरी पालन, मत्स्य पालन एवं सब्जी उत्पादन से संबंधित कार्य किये जा रहे हैं। हिमाद्री एवं सरस मार्केट के माध्यम से उत्पादों की बिक्री की जा रही है।
चिन्यालीसौड़, उत्तरकाशी की श्रीमती रीना रमोला ने कहा कि उनके अपर्णा स्वयं सहायता समूह द्वारा एल.ई.डी पर आधारित अनेक उत्पाद बनाये जा रहे हैं।
पिथौरागढ़ में राखी बृजवाल एवं विमला देवी ने बताया कि नारी शक्ति समूह द्वारा बेकरी से संबंधित उत्पाद बनाये जा रहे हैं।

कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने महिला स्वयं सहायता समूहों की सक्सेस स्टोरी पर आधारित ग्राम्य विकास विभाग की पुस्तक का भी विमोचन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने प्रत्येक जनपद के चयनित महिला स्वयं सहायता समूहों को सम्मानित भी किया। उन्होंने भारत सरकार द्वारा पुरस्कृत गौरा स्वयं सहायता समूह को एक लाख रूपए राशि का चैक, प्रमाण पत्र और स्मृति चिन्ह प्रदान किया। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर ऊधमसिंह नगर जिले नारी शक्ति क्लस्टर की श्रीमती चन्द्रमणि दास को सम्मानित किया। दिनांक 12 अगस्त को श्रीमती चन्द्रमणि को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वर्चुअल संवाद का अवसर प्राप्त हुआ था।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री श्री गणेश जोशी, विधायक श्री खजान दास, श्री कुंवर प्रणव चैंपियन, श्री राजेश शुक्ला, अपर मुख्य सचिव श्रीमती मनीषा पंवार, श्री आनन्द बर्द्धन, सचिव श्री एस. ए. मुरूगेशन एवं प्रदेश के विभिन्न जनपदों से आयी महिला स्वयं समूहों की महिलाएं उपस्थित थे।
 मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने विधानसभा क्षेत्र खटीमा में पहुंचकर कार्यकर्ता बैठक एवं जनमिलन समारोह में शिरकत की। उन्होने लोगों का अभिनन्दन स्वीकार करते हुए धन्यवाद ज्ञापित किया। उन्होने कहा कि आप सबके प्रेम से मुझे जो जिम्मेदारी संगठन ने दी है उसे मै पूरी निष्ठा से निभाउंगा व जो समय प्रदेश की सेवा करने का मुझे मिला है उसमें अधिक से अधिक कार्यों को सम्पन्न किया जायेगा। उन्होने कहा कि उत्तराखण्ड को एक मॉडल प्रदेश बनाने में सरकार लगातार कार्य कर रही है। उन्होने कहा कि सरकार द्वारा बेरोजगारी, पलायन, रिक्त पदों की भर्ती प्रक्रिया, स्वरोजगार के क्षेत्र में युवाओं व महिलाओं को जोड़ने का कार्य भी किया जा रहा है। उन्होने कहा कि सरकार द्वारा विभिन्न विभागों में 24 हजार रिक्त पदों पर भर्ती प्रक्रिया प्रारम्भ कर दी गई है एवं सरकारी नौकरी के क्षेत्र में ही नही बल्कि बङे स्तर पर सरकार विभिन्न क्षेत्रों में लाखों लोगों को स्वरोजगार से जोड़ने का भी प्रयास कर रही है, सरकार की मंशा है कि प्रदेश के युवा एवं महिलाऐं रोजगार मांगने वाले नही बल्कि रोजगार देने वाले बने। उन्होने जनता की समस्याओं को सुना व समस्याओं के निस्तारण हेतु सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये। उन्होने कहा कि इस हेतु सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये गये है कि बैंको से मिलने वाला ऋण की प्रक्रिया को सरल करते हुए शिविरों के माध्यम से जरूरतमन्दों को शिविर में ही ऋण स्वीकृत किया जाना सुनिश्चित करें। उन्होने कहा कि राष्ट्रीय आजीविका मिशन के तहत स्वयं सहायता समूह के माध्यम से माताओं-बहनों द्वारा उत्पादित वस्तुओं को बड़े पैमाने पर बाजार में स्थान दिलाने हेतु सरकार लागातार प्रयास कर रही है ताकि माताऐं-बहने आत्मनिर्भर बन सके। उन्होने कहा कि कोविड-19 के संक्रमण से हुए नुकसान से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को उबारने हेतु 119 करोड़ की सहायता राशि दी जा रही है। प्रदेश में कोविड काल में प्रतियोगी परीक्षाऐं न होने के कारण सरकार ने युवाओं को सरकारी नौकरी की भर्ती में एक साल आयु की छुट दी है। उन्होने कहा कि लोक सेवा आयोग की तैयारी कर रहे युवाओं को प्री-एग्जाम उत्तीर्ण करने पर आगे तैयारी हेतु 50-50 हजार की सहायता धनराशि सरकार द्वारा दी जायेगी व ऐसे व्यक्ति जिन्होने एमबीबीएस की परीक्षा उत्तीर्ण कर इण्ट्रेशिप कर रहे डॉक्टरों को 17 हजार की धनराशि प्रदान की जायेगी।
मुख्यमंत्री श्री धामी ने कहा कि आगामी 3 वर्षों तक किसी भी मलिन बस्तियों में रहने वाले व्यक्तियों को तब तक नही हटाया जायेगा जब तक उनके आवास हेतु आवश्यक कार्यवाही न हो। उन्होने कहा कि सरकार लागातार आमजन के हित व प्रदेश के चहुमुखी विकास हेतु कार्य करना चाहती है जिसके लिए सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये गये है कि तहसील दिवस/बहुउद्देशीय शिविर के माध्यम से आमजन मानस की समस्याओं का निस्तारण करना सुनिश्चित करें। उन्होने कहा कि समस्या ब्लॉक स्तर, तहसील स्तर या जनपद स्तर की हो उनका उसी स्तर पर निस्तारण करना सुनिश्चित करें उन्होने कहा कि यदि कोई भी शिकायत अनावश्यक शासन स्तर पर पहुंची तो उसका उत्तरदायी सम्बन्धित अधिकारी की तय की जायेगी। सरकार की नो पेंडेन्शी की नीति पर कार्य कर रही है। सरकार द्वारा पर्यटन व सांस्कृतिक के क्षेत्र को उबारने के लिए दो सौ करोड़ की धनराशि अर्थिक सहायता के रूप में दी जायेगी। उन्होने कहा कि आशाओं के हित में भी सरकार कार्य कर रही है व इस रक्षाबन्धन पर्व पर आशा व आगनबाड़ी कार्यकत्रियों को 1-1 हजार रूपये की धनराशि उपहार के रूप में दी जायेगी। उन्होने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान जिन बच्चों के अभिभावक/संरक्षक की मृत्यु हुई है उन बच्चों की देखभाल का जिम्मा सरकार ने लिया है जिसके अन्तर्गत 21 वर्ष की आयु तक प्रत्येक बच्चे को प्रतिमाह 3 हजार रूपये की धनराशि दी जायेगी। उन्होने कहा कि अभी तक 23 सौ बच्चों का पंजीकरण हो चुका है जिनको योजना से जोड़ा जा चुका है। उन्होने कहा कि बच्चों की देखभाल मेरे द्वारा मामा के रूप में किया जायेगा। उन्होने कहा कि सरकार दो बच्चों के जन्म पर महालक्ष्मी योजना के तहत उन माताओं को महालक्ष्मी किट दी जा रही है इसके अन्तर्गत 50 हजार माताओं को इसका लाभ दिया जायेगा। उन्होने कहा कि आज हम देश के प्रधानमंत्री के नेतृत्व में अनेक लड़ाई लड़ रहे है जिसमें लगातार प्रधानमंत्री एक कर्मयोगी, राजश्री पुरूष के रूप में कार्य कर रहे है। उन्होने कहा कि आज भारत सबसे ज्यादा वैक्सीन लगाने, मुफ्त राशन देने वाला पहला देश है। उन्होने कहा कि उत्तराखण्ड सरकार ने स्वास्थ्य सम्बन्धी 200 से अधिक जांचे निःशुल्क करने का निर्णय लिया है ताकि उत्तराखण्ड का कोई भी भाई बहन उपचार से वंचित न रहे। उन्होने कहा कि सरकार द्वारा किसानों के हित में बड़े-बड़े कार्य किये जा रहे है। सरकार का एजेण्डा सिर्फ चुनाव जीतना नही बल्कि उत्तराखण्ड का समग्र विकास है, आने वाले दिनो में उत्तराखण्ड देश का सर्वश्रेष्ठ राज्य बनेगा। उन्होने कहा कि हम जनता की भावनाओं के साथ है और आम जनता की भावनाओं को खुशी में बदलना चाहते है। उन्होने सम्बन्धित सभी अधिकारियों को निर्देश दिये कि विकास कार्यों से सम्बन्धित टेण्डर प्रक्रिया 15 सितम्बर 2021 से पहले पूर्ण करना सुनिश्चित करें ताकि वर्षा काल समाप्त होते ही विकास कार्य शीघ्र प्रारम्भ किया जा सके। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने अनेक घोषणाऐं की।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री द्वारा कई घोषणायें की गई, जिनमें खटीमा चौराहे से थारू विकास भवन तक सड़क चौड़ीकरण व प्रकाश व्यवस्था की जायेगी, दीनदयाल पार्क का सौंदर्यीकरण किया जायेगा, मेलाघाट रोड, पीलीभीत रोड, रूद्रपुर रोड एवं टनकपुर रोड के दोनो तरफ फुटपाथ पर टाईल्स निर्माण किया जायेगा, नगर क्षेत्र खटीमा में एक पुस्तकालय का निर्माण किया जायेगा, नगर एवं समीपवर्ती क्षेत्र स्ट्रीट लाईट के कार्य किये जाऐंगें। शहर अन्तर्गत मुख्यमार्गों की सभी दीवारों पर वॉल पेन्टिग की जायेगी, नगर अन्तर्गत ओरना मिन्टर प्लांट लगाये जायेगें, विधानसभा क्षेत्र खटीमा में संचालित आश्रम पद्धति विद्यालय की चाहर दीवारी का निर्माण किया जायेगा, नगर क्षेत्र खटीमा के नाला में वेण्डर जोन का निर्माण किया जायेगा। नगर क्षेत्र खटीमा में जगह-जगह शौचालयों का निर्माण किया जायेगा, खटीमा नगर क्षेत्र में डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन व सोलिड वेस्ट मैनेजमैन्ट का कार्य किया जायेगा, भारामल बाबा मन्दिर का सौन्दर्यीकरण व विकास कार्य किया जायेगा, संजय पार्क के मेलाघाट रोड का उच्चीकरण, भारत-नेपाल के बार्डर पर आकर्षण व भव्य द्वार का निर्माण, शारदा नदी के किनारे वनभूमि पर पार्क का निर्माण, खटीमा में पुरानी तहसील पर राजस्व निरीक्षक/उपनिरीक्षक हेतु शासकीय कार्यालय का निर्माण, खटीमा के नालों को कवर कर आवागमन वेण्डर जोन आदि का निर्माण, नगर क्षेत्र में जल भराव समस्या के सम्बन्ध में जल निकासी की समुचित व्यवस्था, मण्डी समिति का विस्तारीकरण के कार्य की घोषणऐं की गई।
इस अवसर पर विधायक डा0 प्रेम सिंह राणा, जिलाध्यक्ष शिव अरोरा, उपाध्यक्ष किसान आयोग राजपाल सिंह, आईजी अजय रौतेला, जिलाधिकारी श्रीमति रंजना राजगुरू, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दलीप सिंह कुंवर, मुख्य विकास अधिकारी आशीष भटगई, उपस्थित थे।

 उत्तराखंड शासन द्वारा भारी संख्या में आईएएस/पीसीएस अधिकारियों के स्थानांतरण का समाचार है। उत्तराखंड शासन द्वारा देर रात 43 आईएएस और पीसीएस अधिकारियों का स्थानांतरण किया गया और कुछ के दायित्व परिवर्तन किए गए हैं।

● आईएएस अधिकारी नीतीश कुमार झा को निदेशक पंचायती राज की जिम्मेदारी दी गई है।

● आईएएस अधिकारी राधिका झा से निवेश आयोग नई दिल्ली की जिम्मेदारी हटा दी गई है।

● आईएएस अधिकारी एसए मुरुगेशन सह सचिव ग्रामीण विकास की जिम्मेदारी हटा दी गई है।

● सचिव हरीश चंद्र सेमवाल से निदेशक समेकित बाल विकास परियोजना इस जिम्मेदारी को हटा दिया गया है।

● सचिव विनोद कुमार सुमन से निदेशक शहरी विकास की जिम्मेदारी को हटाया गया।

● सचिव विजय कुमार यादव से निदेशक कौशल विकास एवं प्रशिक्षण की जिम्मेदारी को हटाया गया है।

● अपर सचिव आशीष कुमार श्रीवास्तव को अपर सचिव नियोजन की जिम्मेदारी दी गई है।

● अपर सचिव नितिन भदौरिया को अपर सचिव पंचायती राज और निदेशक सोजल की जिम्मेदारी दी गई है।

● अवर सचिव उदय राज सिंह से अवश्य की पेयजल नमामि गंगे और निदेशक स्वजल की जिम्मेदारी को हटाया गया है।

● प्रसूति प्रशांत कुमार आर्य से अपर सचिव श्रम महिला सशक्तिकरण बाल विकास निदेशक कर्मचारी बीमा योजना और निदेशक उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद की जिम्मेदारी को हटाकर मुख्य विकास अधिकारी पौड़ी बनाया गया है।

● अपर सचिव झरना कमठान से अपर सचिव तकनीकी शिक्षा हटाया गया है।

● अपर सचिव मायावती ढकरियाल को अपर सचिव ग्रामीण निर्माण विभाग की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस ललित मोहन से क्षेत्रीय खाद्य नियंत्रक कुमाऊं की जिम्मेदारी को हटाकर निदेशक शहरी विकास बनाया गया है।

● पीसीएस संजय कुमार से अपर आयुक्त कुमाऊं मंडल और संयुक्त निदेशक उत्तराखंड प्रशासनिक अकादमी नैनीताल की जिम्मेदारी को हटाकर शर्मायुक्त हल्द्वानी बनाया गया है।

● सचिव मेहरबान बिष्ट को अपर सचिव पेयजल की अतिरिक्त दायित्व दिया गया।

● पीसीएस रुचि तिवारी को अधिशासी निदेशक शुगर मिल किच्छा से हटाकर निदेशक समेकित बाल विकास परियोजना की जिम्मेदारी दी।

● पीसीएस विनोद गिरी गोस्वामी को निदेशक कौशल विकास एवं प्रशिक्षण हल्द्वानी की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस प्रकाश चंद्र से प्रधान प्रबंधक शुगर मिल बाजपुर की जिम्मेदारी को हटाकर अपर आयुक्त कुमाऊं मंडल एवं संयुक्त निदेशक उत्तराखंड प्रशासन अकादमी नैनीताल की जिम्मेदारी दी गई है।

● एडीएम भगवत किशोर मिश्रा एडीएम प्रशासन हरिद्वार की जिम्मेदारी को हटाकर अपर सचिव महिला सशक्तिकरण और बाल विकास विभाग दिया गया है।

● पीसीएस शिष कुमार से अधिशासी निदेशक राजस्व पुलिस और भूतत्व सर्वेक्षण परीक्षण संस्थान अल्मोड़ा की जिम्मेदारी को हटाकर अपर सचिव श्रम और निदेशक कर्मचारी बीमा योजना की जिम्मेदारी दी गई है।

● प्रभारी सचिव बंसीलाल राणा को सूचना आयोग से हटाकर संभागीय खाद्य नियंत्रक गढ़वाल संभाग भेजा गया है।

● नगर आयुक्त नरेंद्र सिंह को ऋषिकेश से हटा कर अपर आयुक्त गढ़वाल मंडल भेजा गया है।

● गढ़वाल अपर आयुक्त हरक सिंह रावत को अपर सचिव शहरी विकास में ट्रांसफर किया गया है।

● एडीएम अल्मोड़ा वीएल फिरमाल को अल्मोड़ा से हटा कर निदेशक दुग्ध विकास और निदेशक महिला डेयरी हल्द्वानी भेजा गया है।

● पीसीएस अधिकारी चंद्र सिंह धर्मशक्तु को संभागीय खाद्य नियंत्रक गढ़वाल संभाग से हटाकर निदेशक पंचायती राज बनाया गया है।

● पीसीएस जीवन सिंह नगन्याल को निदेशक दुग्ध विकास एवं निदेशक महिला डेयरी हल्द्वानी से हटाकर संभागीय खाद्य नियंत्रक कुमाऊं संवाद भेजा गया है।

● सचिव अधिकारी ललित नारायण मिश्रा को सचिव हल्द्वानी रुड़की विकास प्राधिकरण और अपर जिलाधिकारी कुंभ मेला से हटाकर अपर जिलाधिकारी उधम सिंह नगर भेजा गया है।

● उपायुक्त अभिप्रा त्रिवेदी को राजस्व परिषद से हटाकर सामान्य प्रबंधक गढ़वाल मंडल विकास निगम बनाया गया।

● पीसीएस अधिकारी शिव कुमार बरनवाल को अपर

● जिलाधिकारी पौड़ी से हटाकर अपर जिलाधिकारी प्रशासन देहरादून बनाया गया है।

● पीसीएस अधिकारी रामजी शरण शर्मा को महाप्रबंधक गढ़वाल मंडल विकास निगम से हटाकर अपर जिलाधिकारी टिहरी बनाया गया है।

● श्रीमती इलाज गिरी को अपर सचिव आयुक्त अपर सचिव राज्य संपत्ति नई दिल्ली की जिम्मेदारी को हटाकर अपर जिलाधिकारी पौड़ी बनाया गया है।

● पीसीएस मोहम्मद नासिर से संयुक्त सचिव कौशल विकास की जिम्मेदारी को हटाकर उन्हें उपायुक्त भूमि व्यवस्था राजस्व परिषद की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस कृष्ण कुमार मिश्र को अपर जिलाधिकारी हरिद्वार से हटाकर अपर जिलाधिकारी प्रशासन नैनीताल भेजा गया है।

● पीसीएस अधिकारी प्यारे लाल शाह को नगर आयुक्त नगर निगम कोटद्वार से हटाकर अपर जिलाधिकारी प्रशासन हरिद्वार भेजा गया है।

● पीसीएस अधिकारी वीर सिंह को अपर जिलाधिकारी प्रशासन देहरादून से हटाकर अपर जिलाधिकारी हरिद्वार भेजा गया है।

● पीसीएस अधिकारी त्रिलोक सिंह को अपर जिलाधिकारी चंपावत से हटाकर अधिशासी निदेशक चीनी मिल किच्छा की जिम्मेदारी दी गई।

● पीसीएस अधिकारी मोहन सिंह बर्निया को अपर मुख्य नगर अधिकारी नगर निगम देहरादून से हटाकर नगर आयुक्त नगर निगम ऋषिकेश की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस शिवचरण द्विवेदी को अपर जिलाधिकारी टिहरी से हटाकर अपर जिलाधिकारी चंपावत भेजा गया है।

● पीसीएस प्रकाश चंद दुमका को सचिव मसूरी विकास प्राधिकरण से हटाकर संयुक्त मुख्य प्रशासक उत्तराखंड आवास एवं नगर विकास प्राधिकरण की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस कैलाश सिंह टोलिया को अपर जिलाधिकारी प्रशासन नैनीताल से हटाकर प्रधान प्रबंधक चीनी मिल बाजपुर की जिम्मेदारी दी गई।

● पीसीएस चंद्र सिंह भदोरिया को नगर आयुक्त नगर निगम हल्द्वानी से हटाकर अपर जिला अधिकारी अल्मोड़ा और अधिशासी निदेशक राजस्व पुलिस एवं भूलेख सर्वेक्षण प्रशिक्षण संस्थान अल्मोड़ा की जिम्मेदारी दी गई है।

● पीसीएस उत्तम सिंह चौहान को अपर जिलाधिकारी उधम सिंह नगर से हटाकर सचिव हरिद्वार रुड़की विकास प्राधिकरण और अपन मेला अधिकारी कुंभ मेला हरिद्वार की जिम्मेदारी दी गई।

पीसीएस जगदीश चंद्र कांडपाल को बाध्य प्रतीक्षा से हटाकर नगर आयुक्त नगर निगम कोटद्वार बनाया गया है।