मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत द्वारा उतराखंड के 25 हजार किसानों को कल दिये जायेंगे 03 लाख तक के व्याज मुक्त ऋण, परिवहन निगम को दिए 24.72 करोड़, साईंस सिटी के लिए भी 173 करोड़ का करार

*मुख्यमंत्री शनिवार 6 फरवरी को करेंगे वृहद ऋण वितरण कार्यक्रम।*
*बन्नू कालेज देहरादून में आयोजित होगा कार्यक्रम।*
*25 हजार किसानों को वितरित किये जायेंगे 03 लाख तक के बिना ब्याज का ऋण।*मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के समक्ष सचिवालय में राज्य में उन्नत प्रजाति के आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च के पौधों की खेती के प्रोत्साहन हेतु प्रस्तुतीकरण दिया गया। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि किसानों की आर्थिकी को बढ़ाने में  आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। राज्य में इसको बढ़ावा देने के लिए और क्या प्रयास हो सकते हैं, इस ओर ध्यान दिया जाय। इसका बहुआयामी उपयोग किस तरह किया जा सकता है, इसकी भी जानकारी दी जाय।
आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च खेती को बढ़ावा देने के लिये इस क्षेत्र में कार्य कर रहे छत्तीसगढ़ विशेषज्ञ कृषक छत्तीसगढ़ डॉ. राजाराम त्रिपाठी एवं ग्राम्य विकास एवं पंचायतीराज संस्थान रूद्रपुर के अधिशासी निदेशक श्री हरीश चन्द्र काण्डपाल ने  प्रस्तुतीकरण दिया। श्री राजाराम त्रिपाठी ने कहा कि आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च खेती उत्तराखण्ड में गेम चेंजर हो सकती है। इस खेती में मेहनत भी कम है और अधिक आमदनी अर्जित की जा सकती है। राज्य में इस क्षेत्र में कार्य करने की पर्याप्त संभावनाएं हैं। रूद्रपुर में ग्राम्य विकास एवं पंचायतीराज संस्थान द्वारा आस्ट्रेलियन टीक एवं काली मिर्च की खेती की शुरूआत की गई है, इसके अच्छे परिणाम दिखाई दे रहे हैं।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव श्रीमती मनीषा पंवार, सचिव श्री हरबंस सिंह चुघ, अपर सचिव श्रीमती वन्दना, निदेशक सगंध पौध केन्द्र डॉ. नृपेन्द्र चौहान एवं सबंधित विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत द्वारा शनिवार, 6 फरवरी को दीनदयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना के अन्तर्गत 3.00 लाख रूपये का ब्याज रहित बृहद ऋण वितरण कार्यक्रम का शुभारम्भ जनपद देहरादून के बन्नू स्कूल, रेसकोर्स मैदान में किया जायेगा। यह कार्यक्रम प्रदेश के 95 विकासखण्डों एवं 5 अन्य स्थानों पर आयोजित किया जायेगा। इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री जनपद देहरादून से वर्चुअल माध्यम से समस्त कार्यक्रम स्थलों में लोगों के साथ संवाद भी करेंगे।

इस कार्यक्रम में लगभग 25 हजार लोगों को कृषि एवं कृषियेत्तर कार्यों के लिये कृषि यन्त्रों, मत्स्य पालन, जड़ी-बूटी उत्पादन, मुर्गीपालन, कुक्कुट पालन, मौन पालन आदि प्रयोजनों हेतु ऋण वितरण किया जायेगा।
इस सम्बन्ध में निबन्धक सहकारी समितियां श्री बीएस मिश्र ने बताया कि दीन दयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना के अतिरिक्त उक्त कार्यक्रम में प्रदेश की 200 बहुउद्देशीय कृषि ऋण सहकारी समितियों में कम्प्यूटराइजेशन हेतु हार्डवेयर भी वितरित किया जायेगा। ज्ञातव्य है कि बहुउद्देशीय कृषि ऋण सहकारी समितियों के कम्प्यूटराइजेशन हेतु लगभग 40 करोड़ का व्यय किया जाना है जिसमें 25 प्रतिशत धनराशि राज्य सरकार द्वारा वहन की जायेगी। मार्च 2021 तक प्रदेश की सभी सहकारी समितियों का कम्प्यूटरीकरण किया जायेगा तथा उत्तराखण्ड देश का प्रथम ऐसा राज्य होगा जहाँ प्रदेश की समस्त बहुउद्देशीय कृषि ऋण सहकारी समितियाँ कम्प्यूटरीकृत होंगी।

*परिवहन निगम को मुख्यमंत्री ने स्वीकृत किये 24.72 करोड़*
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने परिवहन विभाग के तहत उत्तराखण्ड परिवहन निगम द्वारा पर्वतीय क्षेत्रों में संचालित निगम की बस सेवाओं से होने वाली हानि की प्रतिपूर्ति हेतु रूपये 24.72 करोड़ रूपये स्वीकृत किये हैं।
*विभिन्न विद्यालयों के निर्माण कार्यों के दिये दी गई 3.56 करोड़ की धनराशि।*
मुख्यमंत्री ने आदर्श राजकीय इण्टर कॉलेज देवलीखेत, अल्मोड़ा में समेकित प्रयोगशाला के निर्माण हेतु 87.13 लाख की स्वीकृति के साथ ही प्रथम किस्त के रूप में 34.852 लाख स्वीकृत किये हैं। मुख्यमंत्री ने राजकीय इण्टर कॉलेज वाण के भवन एवं 04 अतिरिक्त कक्षा-कक्षों के निर्माण हेतु 185.32 लाख की धनराशि स्वीकृति दी है। मुख्यमंत्री ने राजकीय महाविद्यालय थलीसैंण (पौड़ी गढ़वाल) के भवन निर्माण कार्यों के अवशेष कार्यों हेतु 48.61 लाख स्वीकृत किये हैं।
*विभिन्न सड़कों के निर्माण हेतु मुख्यमंत्री ने दी 24.80 करोड़ की स्वीकृति।*
मुख्यमंत्री ने विधानसभा क्षेत्र घनसाली के विकास खण्ड भिलंगना के 02 मोटर मार्गो के प्रथम चरण के निर्माण हेतु रूपये 24.76 लाख की वित्तीय स्वीकृति दी है। मुख्यमंत्री ने जनपद देहरादून के कैण्ट विधानसभा में अनुराग चौक से सीमाद्वार व अनुराग चौक से शहीद विवेक गुप्ता चौक तथा अन्य आंतरिक मार्गों का सुधारीकरण हेतु स्वीकृति दी है। उन्होंने उधम सिंह नगर में अल्पसंख्यक बाहुल्य क्षेत्रों में सी0सी0 मार्ग बनाये जाने से सम्बन्धित 04 कार्यो हेतु 17.11 लाख स्वीकृत किये हैं।
मुख्यमंत्री ने विधानसभा क्षेत्र बीएचईएल रानीपुर के 05 निर्माण कार्यो हेतु 174.88 लाख रूपये स्वीकृत किये है। जनपद बागेश्वर के विधान सभा क्षेत्र कपकोट के अंतर्गत प्रथम चरण के दो निर्माण कार्यो हेतु 31.28 लाख रूपये की स्वीकृति दी है। मुख्यमंत्री ने अल्पसंख्यक कल्याण विभागान्तर्गत कब्रिस्तान में चाहरदीवारी योजनान्तर्गत कुल 18 निर्माण कार्य हेतु 6.60 करोड़ रूपये स्वीकृत किये हैं।
*मुख्यमंत्री सीमान्त क्षेत्र विकास के लिए स्वीकृत हुए 14.19 करोड।*
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने प्रदेश के सीमान्त क्षेत्रों के विकास हेतु मुख्यमंत्री सीमान्त क्षेत्र विकास के लिए 14.19 करोड स्वीकृत की है।
*विभिन्न पेयजल एवं स्वच्छता कार्यक्रमों के लिये स्वीकृत हुए 14.68 करोड़।*
जनपद देहरादून की शाखा पित्थूवाला के अन्तर्गत गीतांजली एन्क्लेव में ट्यूबवैल व ओवरहैड टैंक के निर्माण एवं राईजिंग मेन बिछाने के कार्य हेतु 490.97 लाख रूपये की वित्तीय स्वीकृति दी है। नगर निगम ऋषिकेश सीमान्तर्गत डम्पिंग जोन/लीगैसी वैस्ट के प्रसंस्करण एवं निस्तारण हेतु 865 लाख की स्वीकृति दी है। मुख्यमंत्री ने जनपद हरिद्वार के विधानसभा क्षेत्र झबरेड़ा में कृष्णानगर व सलेमपुर नालों के निर्माण हेतु 96.59 लाख की स्वीकृति दी है। मुख्यमंत्री ने जिला कारागार अल्मोड़ा में सीवर लाईन संयोजन हेतु 15.03 लाख की स्वीकृति दी है।

*देहरादून में साइंस सिटी के लिए केन्द्र एवं राज्य सरकार के बीच समझौता*
• *मुख्यमंत्री की उपस्थिति में यूकॉस्ट के महानिदेशक डॉ. राजेंद्र डोभाल एवं सचिव एनसीएसएम श्री समरेन्द्र कुमार ने समझौता ज्ञापन पर किये हस्ताक्षर*
• *173 करोड़ रूपये की परियोजना है साइंस सिटी*
• *88 करोड़ रूपये केन्द्र सरकार एवं 85 करोड़ रूपये राज्य सरकार वहन करेगी*
• *चार साल में साइंस सिटी का कार्य पूर्ण करने का लक्ष्य।*

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत की उपस्थित में शुक्रवार को मुख्यमंत्री आवास में साइंस सिटी देहरादून के लिए उत्तराखण्ड विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद् (यूकॉस्ट) उत्तराखण्ड शासन एवं राष्ट्रीय विज्ञान संग्रहालय परिषद् (एनसीएसएम ) के मध्य समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर हुए। यूकॉस्ट के महानिदेशक डॉ. राजेंद्र डोभाल एवं सचिव एनसीएसएम ने समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये। एनसीएसएम भारत सरकार के संस्कृत मंत्रालय की एक स्वायत्तशासी संस्था है जो देश में विज्ञान संग्रहालयों का निर्माण तथा संचालन करती है। साइंस सिटी देहरादून में विज्ञान धाम, झाझरा में विकसित होगी। साइंस सिटी लगभग चार वर्षों में बनकर तैयार हो जायेगी। 173 करोड़ रूपये की इस परियोजना के लिए 88 करोड़ रूपये केन्द्र सरकार एवं 85 करोड़ रूपये राज्य सरकार वहन करेगी।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि देहरादून में बनने वाले साइंस सिटी सबके आकर्षण का केन्द्र बने इसके लिए विशेष प्रयासों की जरूरत है। इसे निर्धारित समयावधि से पूर्व पूर्ण करने के प्रयास किये जाए। उन्होंने कहा कि किसी भी बड़े प्रोजक्ट को पूरा करने के लिए दृढ़ इच्छा शक्ति का होना जरूरी है। सबके सामुहिक प्रयासों से यह प्रोजक्ट समय से पहले पूरा करने का प्रयास किया जायेगा। उन्होंने कहा कि भारत की वैज्ञानिक संस्कृति को आगे बढ़ाने की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम होगा। राज्य सरकार का प्रयास होगा कि उत्तराखण्ड के वैशिष्ट्य को लोग साइंस सिटी के माध्यम से देख सकें। साइंस सिटी के लिए स्थान का चयन भी छात्र-छात्राओं एवं लोगों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए किया गया है।
साइंस सिटी देहरादून में खगोल एवं अंतरिक्ष विज्ञान ,रोबोटिक्स, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी की विरासत, भूगर्भीय जीवन, जलवायु परिवर्तन, ऊर्जा, जैव प्रौद्योगिकी, वर्चुअल रियलिटी, ऑग्मेंटेड रियलिटी, आर्टिफीसियल इंटेलीजेन्स के साथ स्पेस थियेटर सहतारामंडल, हिमालय की जैवविविधता पर डिजिटल पैनोरमा, सिम्युलेटर, एक्वेरियम, उच्च वोल्टेज व लेजर, आउटडोर साइंस पार्क, थीम पार्क, बायोडोम, बटरफ्लाई पार्क, जीवाश्म पार्क एवं मिनिएचर उत्तराखंड आदि होंगे। साथ ही अन्य सुविधाओं के रूप में कन्वेंशन सेंटर तथा प्रदर्शनी हॉल आदि भी साइंस सिटी का हिस्सा होंगे।
साइंस सिटी प्रदेश में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के संचार, लोकव्यापीकरण तथा नवप्रवर्तन की दिशा में विद्यार्थियों, शिक्षकों, आम नागरिकों एवं पर्यटकों के लिए महत्वपूर्ण तथा आकर्षण का केन्द्र होगी। केंद्र सरकार की स्पोक्स योजना के तहत क्षेत्र्रीय विज्ञान केंद्र देहरादून के साइंस सिटी देहरादून में उन्नयन के लिए राज्य सरकार के प्रस्ताव को संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार की सैद्धांतिक मंजूरी मिली थी। इस सैद्धांतिक मंजूरी के बाद संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार के डेलीगेटेड इन्वेस्टमेंट बोर्ड (डीआईबी) की मंजूरी भी साइंस सिटी देहरादून के लिए अप्रैल 2020 में प्राप्त हो गई थी।
इस अवसर पर विधायक श्री सहदेव सिंह पुण्डीर, ग्राम्य विकास एवं पलायन आयोग के उपाध्यक्ष डॉ. एस.एस. नेगी, मुख्यमंत्री के तकनीकि सलाहकार डॉ. नरेन्द्र सिंह, सचिव विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी श्री आर.के सुधांशु, एनसीएसएम के भूतपूर्व महानिदेशक श्री गंगा सिंह रौतेला, निदेशक इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पेट्रोलियम डॉ. अजंन रे, अपर सचिव श्री विजय यादव, अपर प्रमुख वन संरक्षक डॉ. समीर सिन्हा, डॉ. प्रकाश चौहान आदि उपस्थित थे।