कोरोना अपडेट, ऐसे बचें जानलेवा करोना से

कोरोना अपडेट – 30 जनवरी 2020 को भारत में पहला कोरोना पॉजिटिव आया था, लाॅकडाउन और सभी सावधानियों के उपरांत भी आज 13 जून 2020 को देश में 3 लाख से अधिक पाज़िटिव केस हैं, कोरोना से अबतक 6 हजार से अधिक मौतें हो चुकी हैं। हमारे सिंथेटिक मास्क पर 8 घंटे कोरोना वायरस एक्टिव रह सकते हैं, और इन सिंथेटिक मास्क को प्राकृतिक रूप से डिजाल्ब या नष्ट होने में 4 सौ साल लगेंगे। इसलिए इसे घर पंहुचने पर घर के भीतर जाने से पहले ही साबुन से धोकर सुखाने रखें। और जब घर से बाहर जाना हो तब फिर से उसे पहनें, हर बार ऐसे ही पुन: उपयोग करें। घर के अन्दर जाने से पहले अपने हाथ पैर भी ठीक से धोयें। जूते घर के बाहर ही उतारें। कोरोना संक्रमण का असर कम करने के लिए हर दिन गर्म पानी या चाय आदि गरम पेय दो से चार बार अवश्य पियें। मास्क को जब भी फेंकना हो तो इधर-उधर ना फेंकें इससे दूसरे लोग या पशुओं के संक्रमित होने की संभावना रहती है और पर्यावरण को भी नुकसान होगा, इसलिए डस्टबीन में ही मास्क डिस्कार्ड करें। किसी से भी ना हाथ मिलांयें न गले मिलें। हर परिस्थिति में शोशल डिस्टेंशिग का ध्यान अवश्य रखें। कुछ भी खाने पीने से पहले हाथ साबुन मिट्टी या राख से अवश्य धोयें। घर के बाहर जाने से पहले हाथों पर सिनेटाईजर या कोई तेल अवश्य लगायें। हाथों में कोई भी अंगूठी या मैटल के कड़े न पहने, क्योंकि मैटल पर वायरस 12 घंटे से अधिक देर तक एक्टिव रह सकते हैं। बुखार जुकाम खांसी सांस की दिक्कत छाती में कंजक्शन और कमजोरी महसूस होने पर नजदीकी डाक्टर को अवश्य दिखायें। यदि इनमें से सभी लक्षण एक साथ दिख रहे हैं तो करोना की जांच अवश्य करायें। कोरोना पॉजिटिव आने पर घबराना नहीं अपितु यह एक छुआछूत का इनफ्लुंजा यानि जुकाम बुखार है जो केवल आराम करने नियमित सादा भोजन और गर्म पानी पीने से सप्ताह भर में ठीक हो जाता है। फ्रिज की चीजों, कूलर और एसी का परहेज करें। भविष्य में अस्पतालों में जगह नहीं मिलेगी इसलिए घर पर ही ऐसा करने के लिए भी तैयार रहें। बच्चों और बुजुर्गों और सांस लेने में तकलीफ होने पर जैसा आपके डाक्टर परामर्श दें वैसा करें। अपने घर में भी मुलेठी, कंठसुधारक बटी त्रिकुटा और महासुदर्शन चूर्ण या अंग्रेजी दवा पैरासिटामोल बिटामिन सी और एजिथ्रो माईसिन की गोलियां एक एक पते रख सकते हैं और नजदीकी डाक्टर से परामर्श लेकर ही इनका उपयोग करें। सबसे बड़ी बात जब तक जीवन मरण के बराबर आवश्यक कार्य न हो तो घर से बाहर न निकलें। दोस्ती, रिश्तेदारी, शादी-ब्याह आदि समारोह में जाने से अवश्य परहेज करें। जब भी कहीं जाना हो पैदल या अपने निजी वाहन के उपयोग को प्राथमिकता दें। सार्वजनिक वाहन कोरोना की दृष्टि से संवेदनशील होते हैं। छोटे बच्चों, 60 वर्ष से उपर के लोगों और दमा के मरीजों को कोरोना संक्रमण बहुत अधिक नुकसानदायक है। देहान्त से अच्छा है घर का एकांत।.. हरीश मैखुरी

कोरोना अपडेट:-2 *हमारी औकात क्या है!*
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भौतिक विज्ञान की गिनती से देखें तो 1 कोरोना वाइरस का वजन 0.85 एटोग्राम है।
यानी 0.00000000000000000085 ग्राम।
एक संक्रमित मनुष्य में वायरस की संख्या कम से कम 70 अरब होने पर उसका रिपोर्ट पाॅजिटिव हो सकता है।
70 अरब वायरस का वजन = 0.0000005 ग्राम होता है। आज तक पूरी दुनिया में 40 लाख लोग कोरोना से संक्रमित हुए हैं। इन सबके कोरोना वाइरस को इकट्ठा करें तो कुल वजन 2 ग्राम होता है। इस 2 ग्राम ने पूरी दुनिया को हिला रखा है। दुनिया मे अरबों-खरबों रुपए का नुकसान हो चुका है।
इस 2 ग्राम वायरस के कारण पृथ्वी का पूरा वातावरण रिसेट हो गया है।
*मनुष्य की बिगाड़ी हुई पृथ्वी को सही करने में ईश्वर को सिर्फ़ 2 ग्राम वायरस की जरूरत पड़ती है!*
इतने से ही दुनिया के असंख्य जीव खुशहाल हो जाते हैं। पृथ्वी जीने लायक बन जाती है।
बस इतने से ही *ईश्वर की ताकत एवं सिद्धांत को समझें!*..🤔🤔