अधिकारी सकारात्मक भाव से जनसमस्याओं का करें त्वरित निस्तारण, सरकार चारधाम यात्रा शुरू करने हेतु गंभीरता से प्रयासरत – मुख्यमंत्री पुष्कर धामी

*अधिकारी सकारात्मक सोच से करें जनसमस्याओ का निस्तारण: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी*

नैनीताल 08 सितम्बर 2021 (सूचना) – जन समस्याओं के तेजी से निस्तारण हेतु सभी अधिकारी एवं कर्मचारी सकारात्मक सोच रखते हुए अपनी कार्य संस्कृति में तीन बिन्दुओं-सरलीकरण, समाधान तथा निस्तारण को शामिल करना सुनिश्चित करें। यह निर्देश सूबे के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने नैनीताल क्लब में जनपदीय अधिकारियों के साथ विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए दिये।

*काम में शिथिलता या लापरवाही पर होगी सख्त कार्रवाई*

मुख्यमंत्री ने निर्देशित करते हुए कहा कि सभी अधिकारी एवं कर्मचारी जिस स्तर की समस्या है, उसी स्तर पर समस्या का समाधान करना सुनिश्चित करें तथा जो कार्य जिस स्तर का है, उसी स्तर पर समाधान होना चाहिए, समस्याओें को उलझाने की जगह सकारात्मक सोच के साथ सुलझाने का कार्य किया जाये ताकि समस्याऐं एवं शिकायतें अनावश्यक रूप से उच्च स्तर पर न जाये। उन्होंने निर्देशित करते हुए कहा कि कार्यों को अनावश्यक लम्बित रखने वालों के खिलाफ सख्त कार्यवाही अमल में लायी जायेगी।

*विकास कार्यों की हो लगातार समीक्षा*

मुख्यमंत्री ने कहा कि जनपद में चल रहे कार्यों की छोटी इकाई विधानसभा स्तर पर भी गहनता से समीक्षा की जाये तथा विधानसभा स्तर पर समीक्षा हेतु जिम्मेदार अधिकारियों को नोडल अधिकारी बनाया जाये। उन्होंने पुलिस विभाग के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि पुलिस चौकी से लेकर कोतवाली स्तर तक की समस्याओं पर उसी स्तर से कार्यवाही करना सुनिश्चित करें, पुलिस चौकी से लेकर कोतवाली स्तर की कोई भी समस्या उच्च स्तर पर कतई नहीं आनी चाहिए, यदि निचले स्तर की समस्याऐं उच्च स्तर तक आती हैं तो सम्बन्धित के खिलाफ तुरन्त कार्यवाही करने के निर्देश पुलिस विभाग के उच्चाधिकारियो को दिये।

*अधिक से अधिक स्वरोजगार कैम्प लगाए जाएं*

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि सड़कों को गड्डा मुक्त बनाने के लिए 15 सितम्बर तक सभी आवश्यक कार्यवाही करते सड़कों को प्राथमिकता से गड्डा मुक्त करना सुनिश्चित करें। उन्होंने नगर निगम हल्द्वानी के मेयर डॉ.जोगेन्द्र पाल सिंह रौतेला के अनुरोध पर नगर निगम के आन्तरिक सड़क मार्गों (जोकि पूर्व में लोनिवि के पास थे) को गड्डामुक्त करने हेतु डीपीआर तुरन्त तैयार करने के निर्देश अधीक्षण अभियंता लोनिवि को दिये। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिये कि युवाओं को अधिक से अधिक रोजगार से जोड़ने के लिए स्वरोजगार कैम्पों का आयोजन किया जाये, कैम्पों में स्वरोजगार योजनाओं से सम्बन्धित विभागों के साथ ही राजस्व, बैंकर्स को भी कैम्पों में अनिवार्य रूप से बुलाया जाये ताकि स्वरोजगार योजना में लगने वाले आवश्यक प्रपत्रों सहित सभी औपचारिकताऐं शिविर में ही पूर्ण कर ली जाये। स्थानीय विधायकों के साथ समन्वय स्थापित करते हुए शिविरों का आयोजन किया जाये तथा अन्य जनप्रतिनिधियों को भी कैम्पों में आमंत्रित किया जाये व कैम्पों का तिथि से पूर्व वृहत प्रचार-प्रसार कराया जाये ताकि अधिक से अधिक बेराजगार युवा कैम्पों का लाभ उठा सकें।
मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल को निर्देश दिये कि वे कैंची धाम में पार्किंग निर्माण हेतु डीपीआर तुरन्त तैयार कराकर शासन को भिजवाना सुनिश्चि करें।
वन विभाग की समीक्षा करते हुए निर्देश दिये कि विकास कार्यों से सम्बन्धित प्रकरणों के वनभूमि हस्तान्तरण प्रस्ताव में बार-बार आपत्ति न लगाकर एक ही बार में समस्त आपत्ति लगाना सुनिश्चित करें ताकि एक साथ सभी आपत्तियों का निराकरण किया जा सके व विकास कार्य शीघ्रता से प्रारम्भ किये जा सके।
स्मीक्षा के दौरान जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने बताया कि जनपद में आर्थिकी संसाधनों में वृद्धि हेतु प्राथमिक क्षेत्र-कृषि, उद्यान, पशुपालन, मत्स्य आदि विभाग को जिला योजना से 12 करोड़ से अधिक की धनराशि अवमुक्त की गयी है। जनपद में नकदी तथा बेमौसमी फसल उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए 90 प्रतिशत सब्सिडी पर जिला योजना से 261 तथा खनन न्यास फण्ड से 186 पोली हाउस का निर्माण कलस्टर एवं स्वयं सहायता समूह आधारित कराया जा रहे हैं। जिससे अधिक से अधिक किसानों का लाभ मिलेगा तथा उन्हें उत्पादों हेतु मार्केट भी आसानी से उपलब्ध होगी। श्री गर्ब्याल ने बताया कि पर्यटन को बढ़ावा देने व किसानों को हाई एल्टीट्यूड सेब नर्सरी उपलब्ध कराने के उद्देश्य से रामगढ़ में 8 एकड़ में विकसित हो रही सेब नर्सरी, परम्पारगत शैली में नैनीताल शहर के सौन्दर्यकरण, एस्ट्रो विलेज ताकुला, कोविड-19 संक्रमण से बचाव एवं थर्ड वेव की तैयारियों आदि के बारे में विस्तार से जानकारी दी।

समीक्षा बैठक में विधायक श्री संजीव आर्य ने विकास कार्यों में वन भूमि हस्तान्तरण हेतु क्षतिपूर्वक भूमि के रूप में वन पंचायत भूमि के उपयोग का सुझाव दिया तथा विधायक श्री दीवान सिंह बिष्ट ने वन विभाग को सारी आपत्तियॉ एक साथ लगाने को कहा।

बैठक में जनपद प्रभारी एवं परिवहन, समाज कल्याण व अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री श्री यशपाल आर्य, जिला पंचायत अध्यक्ष बेला तोलिया, अनिल कपूर डब्बू, मण्डलायुक्त सुशील कुमार, डीआईजी नीलेश आनन्द भरणे, एसएसपी प्रीति प्रियदर्शनी, मुख्य विकास अधिकारी डॉ.सन्दीप तिवारी, प्रबन्ध निदेशक केएमवीएन नरेन्द्र सिंह भण्डारी, अपर आयुक्त प्रकाश चन्द, डीएफओ टीआर बीजुलाल, चन्द्र शेखर जोशी, कल्याणी, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ.भागीरथी जोशी, जिला विकास अधिकारी रमा गोस्वामी, परियोजना निदेशक अजय सिंह, जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी एलएम जोशी, जिला पंचायत राज अधिकारी अतुल प्रताप सिंह, अधीक्षण अभियंता लोनिवि एबी काण्डपाल, जल संस्थान विशाल सक्सैना सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

चारधाम यात्रा की रूकावट को लेकर उत्तराखंड सरकार गंभीर
सीएम धामी ने नयना देवी मंदिर पहुंच कर प्रदेश की तरक्की की कामना की
नैनीताल – मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने गुरूवार को देहरादून रवाना होने से पूर्व माँ नयना देवी के दर्शन कर मंदिर में माथा टेका। प्रदेश की खुशहाली व उन्नति की प्रार्थना की। दो दिवसीय प्रवास पर नैनीताल पहुंचे मुख्यमंत्री धामी ने कहा चारधाम यात्रा नहीं होने से लोगों की आजीविका प्रभावित हो रही है और सरकार इसे गंभीरता से ले रही है उन्होंने कहा चूंकि मामला न्यायालय में विचाराधीन है और लोगों की आजीविका प्रभावित ना हो इसके लिये सरकार अदालत में दमदार पैरवी कर रही है। नयना देवी के दर्शन करने पहुंचे गुरूवार को नयना देवी मंदिर में पूजा अर्चना करते सीएम धामी को मंदिर समिति ने माँ नयना देवी का प्रतीक चिन्ह भी भेंट किया। 

मंगलवार को उच्च न्यायालय नैनीताल ने यात्रा को शुरू किये जाने हेतु निर्देश जारी करने से मना करते हुए कहा कि मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है अत: हाई कोर्ट कोई आदेश जारी नहीं कर सकता है। इसी के मद्देनजर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा है कि राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट में दायर विशेष अनुमति याचिका को वापस लेने पर विचार कर रही है। ताकि नैनीताल हाईकोर्ट में‌ चारधाम यात्रा शुरू करने हेतु पैरवी हो सके।

सुप्रीम कोर्ट में राज्य सरकार की ओर से चारधाम यात्रा शुरू किये जाने हेतु विशेष अनुमति याचिका दायर की है। हाई कोर्ट ने कहा है कि इस पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के पश्चात ही उत्तराखंड चार धाम यात्रा शुरू किये जाने पर विचार होगा। जिसमे अभी सुनवाई की निश्चित तिथि भी तय नहीं है। अत: राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट से विशेष अनुमति याचिका ( एसएलपी) वापस लेगी ताकि नैनीताल उच्च न्यायालय में चारधामों में यात्रा शुरू करने हेतु पैरवी हो सके ।

यद्यपि देवस्थानम बोर्ड द्वारा कपाट खुलने की तिथियों से अब तक मंदिरों में निरंतर पूजा-अर्चना की जा रही है‌ तथा मंदिरों के कपाट बंद होने में मात्र एक से डेढ़ माह का समय शेष है।

जानकारों की राय ये भी है कि देवस्थानम् वोर्ड में वृतिधारकों के प्रतिनिधि, सनातन धर्म के विशेषज्ञ और शंकराचार्य होने चाहिए, अन्यथा आईएएस की टीम तो इसे सरकारी ऐजेन्सी बना देगी। लेकिन चारधामों के सीईओ अलग अलग होने चाहिए। हमारा मानना है कि उत्तराखण्ड में चारों धामों के विकास के लिए एक एजेंसी की आवश्यकता है मुख्यमंत्री नारायणदत ने भी इस बात को अनुभव करते हुए चारधाम विकास परिषद बनाई थी जिसके उपाध्यक्ष डाॅ अनुसूया प्रसाद मैखुरी थे, मुख्यमंत्री भुवन चंद्र खंडूरी के काल में सूरत राम नौटियाल तथा त्रिवेंद्र सिंह के काल में शिवप्रसाद ममगाईं थे। बक्फबोर्ड बनाने वाले कह रहे हैं कि देवस्थानम बोर्ड भंग करेंगे, चारधाम देवस्थानम बोर्ड भंग करने की मंशा दल विशेष की हो सकती है। लेकिन सनातन धर्म संस्कृति और चारों धामों के हित में तो बोर्ड की आवश्यकता है।  बोर्ड में युगों से चली आ रही धार्मिक व्यवस्था, पंडितों और हक-हकूक धारियों की परम्परागत संस्कृति तथा प्रथा में सरकार का हस्तक्षेप ना हो इसका प्रावधान आवश्यक रूप से होना चाहिए। देवस्थानम बोर्ड की प्रस्तावना में ये बात स्पष्ट रूप से अंकित है भी, लेकिन नियमावली में भी यही होना चाहिए। सरकार को तत्काल प्रभाव से बोर्ड का स्ट्रक्चर बना देना चाहिए।