आज का पंचाग, राशि फल और सोमवती आमावास्या का महात्म्य

🕉️🙏 सुप्रभातम् 🙏🕉

🌹आपका दिन शुभ हो 🌹

🚩मार्गशीर्ष-कृ१५-२०७७🚩

🔥 14 दिसम्बर 2020 🔥

~~~~~~~~~~~~~~~
दिन —– *सोमवार*
तिथि — *अमावस्या 09::44 pm तक रहेगी*
नक्षत्र ——- *ज्येष्ठा*
पक्ष —— *कृष्ण*
अमांत माह- कार्तिक-२९
माह– — *मार्गशीर्ष*
ऋतु ——– *हेमन्त*
सूर्य दक्षिणायणे,*दक्षिण गोले*
विक्रम सम्वत –2077 -प्रमादी
दयानन्दाब्द — 196
शक सम्बत -1942
मन्वन्तर —- वैवस्वत

कलि युगाब्द……..5122
विक्रम संवत्……..2077
शक संवत ……….1942
संवत्सर…………..प्रमादीकल्प सम्वत–1972949122
मानव,वेदोत्पत्ति सृष्टिसम्वत-१९६०८५३१२२सृष्टियाब्द………….15,55,21,17,29,49,122
कल्पाब्द…………..1,17,29,49,122
सृष्टि संवत्…………1,95,58,85
दिशाशूल…………..पश्चीम दिशा से
सूर्योदय……………6:57
सूर्यास्त……………5:15  (सूर्योदय और सूर्यास्त का समय विभिन्न स्थानों में भिन्न होता है)
व्रत/पर्व विवरण……दर्श अमावस्या, सोमवती अमावस्या (सूर्योदय से रात्रि 09:47 तक

🌑सोमवती अमावस्या
🚩 *सूर्य ग्रहण* का समय- 14 दिसंबर को शाम 07 बजकर 03 मिनट से रात 12 बजकर 23 मिनट तक लगेगा. इस ग्रहण की कुल अवधि लगभग 5 घंटे रहेगी. यह ग्रहण भारत में दृश्य नहीं होगा, इसलिए इसका सूतक काल मान्य नहीं होगा।

आज का विचार – जीवन का एक रहस्य.!
रास्ते पर गति की सीमा है,बैंक में पैसों की सीमा है.परीक्षा में समय की सीमा है,परंतु हमारी सोच की कोई सीमा नहीं है,इसलिए सदा श्रेष्ठ सोचें और श्रेष्ठ पाएं.!

*〰〰〰〰〰〰〰〰〰〰*
*⚜️ आज का राशिफल ⚜️*
*दिनांक : 14 दिसम्बर 2020*

🐐🐂💏💮🐅👩
〰️〰️〰️〰️〰️〰️
मेष🐐 (चू, चे, चो, ला, ली, लू, ले, लो, अ)
आज के दिन आपका स्वभाव शारीरिक दुर्बलता के कारण उदासीन बना रहेगा। अधिक मेहनत वाले कार्य करने में समर्थ नही रहेंगे फिर भी छोटे मोटे कार्य मे लगे रहेंगे। दिन के आरंभ से मध्यान तक कि दिनचर्या खराब रहेगी कार्य करने की हिम्मत जुटाएंगे लेकिन परिस्थिति कोई न कोई बाधा डालेगी मन मे उटपटांग विचार आएंगे। नौकरी वाले लोग भी मध्यान तक जबरदस्ती कार्य करेंगे लेकिन दोपहर के बाद सेहत में थोड़ी चुस्ती आने लगेगी फिर भी यात्रा अथवा अन्य जोखिम वाले कार्यो से बच कर ही रहे दुर्घटना हो सकती है। कार्य व्यवसाय में आज सफलता कम ही मिलेगी जोड़ तोड़ कर थोड़ा बहुत धन मिलेगा परन्तु तुरंत खर्च हो जाएगा। घर मे शांति रहने के बाद भी मन मे उच्चाटन बनेगा। सामाजिक सम्मान में कमी आएगी।

वृष🐂 (ई, ऊ, ए, ओ, वा, वी, वू, वे, वो)
आज का दिन आपके लिये धूप छांव जैसी परिस्थिति बनाएगा एक पल में किसी शुभ समाचार से उत्साहित होंगे तो अगले ही पल किसी अन्य कारण से निराशा बनेगी। दिन के आरंभिक भाग में कम समय मे ज्यादा से ज्यादा लाभ पाने की योजना बनाएंगे आपकी कार्य शैली भी इसी के अनुसार ही रहेगी लेकिन मन मे हद से ज्यादा स्वार्थ सिद्धि की भावना पूर्ण सफल नही होने देगी उल्टे पुराने व्यवहारों में खटास बनेगी। नौकरी पेशा भी अनैतिक मार्ग से लाभ उठाने का प्रयास करेंगे सफल भी होंगे लेकिन प्रलोभन बढ़ने पर बदनामी भी हो सकती है। आर्थिक लाभ आज अवश्य होगा पर जिस समय आशा नही होगी तब ही। घर मे छोटे मोटे सुख के साधनों पर खर्च करना पड़ेगा। विद्युत उपकरणों से सतर्क रहें। यात्रा लाभदायक रहेगी।

मिथुन👫 (का, की, कू, घ, ङ, छ, के, को, हा)
आज के दिन आपका मुख्य लक्ष्य अपने व्यावसायिक क्षेत्र में वृद्धि कर लाभ उठाने का रहेगा इसके लिये सार्वजनिक क्षेत्र पर नए लोगो से जान पहचान बनाएंगे छोटी बड़ी यात्रा एवं परिश्रम आज अधिक करना पड़ेगा लेकिन धन संबंधित कामनाये पूरी होने में फिर भी संशय बना रहेगा। नौकरी पेशाओ को भी कार्य के सिलसिले से यात्रा करनी पड़ सकती है यात्रा शुभ ही रहेगी नए मित्रो से संपर्क, मेल मिलाप बढ़ेगा मशीनरी अथवा अन्य संसाधनों का लाभ होगा लेकिन यात्रा को सीधे धन लाभ से ना जोड़े अन्यथा उदासी ही मिलेगी। लाटरी सट्टे में निवेश का मन बनेगा लेकिन ज्यादा लाभ नही मिलेगा। घर के सदस्य आज एकमत रहने से शांति रहेगी।

कर्क🦀 (ही, हू, हे, हो, डा, डी, डू, डे, डो)
आज के दिन आप अधिक स्वाभिमानी रहेंगे। बुद्धि विवेक का परिचय हर क्षेत्र पर देंगे पराक्रम शक्ति भी प्रबल रहेगी किसी का सहयोग जल्दी से नही लेंगे लेकिन जिस समय सहयोग की आवश्यकता पड़ेगी उस समय मिलेगा नही। कार्य क्षेत्र पर व्यवसाय की गति धीमी रहेगी फिर भी चालाकी से खर्च योग्य आय बना ही लेंगे विरोधी लोग भी आपकी कार्य कुशलता की पीठ पीछे प्रशंसा करेंगे जिससे मन मे अभिमान आएगा। मध्यान बाद किसी से आर्थिक मामलों को लेकर खींचतान हो सकती है यहाँ धैर्य का परिचय दे अन्यथा भविष्य के लिये नई समस्या खड़ी होगी। घर का वातावरण लगभग सामान्य ही रहेगा फिर भी पति-पत्नी अकड़ छोड़ एक दूसरे का सहयोग करे तो व्यर्थ की बहस से बचेंगे। आरोग्य कुछ पुराने रोग को छोड़ ठीक रहेगा।

सिंह🦁 (मा, मी, मू, मे, मो, टा, टी, टू, टे)
आज के दिन आप स्वयं ही अपनी परेशानी का कारण बनेंगे छोटी छोटी बातों पर क्रोध कर आस पास का वातावरण अशांत बनाएंगे आज आपके संपर्क में जो भी आएगा मन दुखी करके ही जायेगा सीधे किसी से नही लड़ेंगे कड़वे ताने अथवा किसी की कमजोरी को लेकर व्यंग्य करने पर माहौल खराब करेंगे। कार्य क्षेत्र पर पहले ही अव्यवस्था रहेगी उर से ध्यान अनर्गल विषयो में रहेगा जिससे हानि होने की संभावना अधिक बनेगी। किसी अन्य के कार्य अथवा झगड़े में पंच ना बने अपमान होगा। आर्थिक मामलों में भाई बंध, मित्रो के सहयोग की आवश्यकता पड़ेगी लेकिन रूखा व्यवहार बाधक बनेगा माता का सहयोग मिलेगा लेकिन अपर्याप्त। बोल चाल में मर्यादा रखे व्यर्थ शत्रुता बढ़ेगी। रक्तचाप अथवा अल्पता के कारण परेशान होंगे।

कन्या👩 (टो, पा, पी, पू, ष, ण, ठ, पे, पो)
आज के दिन आपका स्वभाव अटपटा रहेगा शुभ कर्मों को छोड़ वर्जित कार्यो में अधिक रुचि दिखाएंगे। काम धंधा मंदा रहेगा लेकिन आज अकस्मात लाभ होने की भी संभावना है लापरवाही से बचे अन्यथा वंचित रह जाएंगे। आज आप अपना काम निकालने के लिये जिद का सहारा लेंगे अन्य लोगो को इससे काफी परेशानी होगी क्रोध दिमाग पर रहेगा मांगे पूरी ना होने पर कलह पर उतारू हो जाएंगे विशेष कर माता से अपना काम निकल कर ही चैन आएगा। घर का वातावरण उथल पुथल रहेगा पति पत्नी अथवा अन्य परिजनों में शंकालु वृति के कारण झगड़ा हो सकता है। कामोतेजना आज अधिक रहेगी संयम रखें अन्यथा अपमानित हो सकते है। आँख एवं मस्तिष्क संबंधित संमस्या को छोड़ आरोग्य सामान्य रहेगा।

तुला⚖️ (रा, री, रू, रे, रो, ता, ती, तू, ते)
आज का दिन आपको कामना पूर्ति के अवसर देगा लेकिन आलस्य और लापरवाही इसमे बाधक भी बनेगा इनसे बचने का प्रयास करे तो दिन से आशाजनक लाभ उठा सकते है। कार्य क्षेत्र पर प्रतिस्पर्धी सर उठाएंगे फिर भी आप अपने कार्यकुशलता और सामाजिक प्रतिष्ठा के बल पर इनका शमन कर देंगे। व्यवसाय में आरम्भिक मशक्कत के बाद दोपहर बाद से लाभ मिलने लगेगा जो रात्रि तक रुक रुक कर चलता रहेगा। सामाजिक क्षेत्र पर किसी के वैर विरोध का सामना करना पड़ेगा। सरकारी उलझनों में फंसने की भी संभावना है अनैतिक कार्यो से बचे अन्यथा फल विपरीत भी हो सकते है। गृहस्थ में भी थोड़ा विरोध का सामना करना पड़ेगा लेकिन यहाँ विजय आपकी ही होगी। दूर के व्यवसाय अथवा संबंध से आकस्मिक लाभ होगा। ठंड से बचे जुखाम बुखार की समस्या हो सकती है।

वृश्चिक🦂 (तो, ना, नी, नू, ने, नो, या, यी, यू)
आज के दिन आप असमंजस की स्थिति में रहेंगे आपका स्वभाव पल पल में बदलने से लोग आपके ऊपर विश्वास नही करेंगे एक पल में आध्यात्मिक बाते करेंगे अगले ही पल मौज शौक में रुचि दिखाने से लोगो के बीच हास्य के पात्र बनेंगे आपकी छवि भी आडम्बरी जैसी बनेगी। कार्य व्यवसाय में ले देकर लाभजनक स्थिति बना लेंगे लेकिन इसके लिये किसी की खुशामद भी करनी पड़ेगी धन लाभ जरूरत के अनुसार हो ही जायेगा। नौकरी पेशाओ को अधिकारी वर्ग की बातों को अनसुना करने पर फटकार लग सकती है। गृहस्थी में माता को छोड़ अन्य किसी से नही बनेगी पति पत्नी में धन अथवा खर्च के कारण बहस होगी। भूमि भवन वाहन सुख मिलेगा लेकिन किसी अन्य के भाग्य से। सेहत कुछ समय के लिये प्रतिकूल होगी।

धनु🏹 (ये, यो, भा, भी, भू, ध, फा, ढा, भे)
आज आपको धैर्य से काम लेने की सलाह है मानसिक संतुलन कम रहेगा स्वयं कुछ भी कहेंगे करेंगे लेकिन किसी अन्य के करने पर लड़ाई पर उतारू हो जाएंगे। दिन के पूर्वार्ध में परिजन अथवा किसी अन्य से गलतफहमी बनेगी जल्दबाजी में कोई निर्णय ना ले अन्यथा बाद में पछतावा होगा। महिलाए भी बोलने से पहले विचार करें बेतुकी बातो से अपना ही सम्मान घटेगा। कार्य क्षेत्र पर धन अथवा किसी वस्तु के कारण झगड़ा हो सकता है यहाँ भी व्यवहारिकता से काम ले नही तो व्यवहार खराब होंगे। धन लाभ पाने के लिये आज बौद्धिक के साथ शारीरिक परिश्रम भी करना पड़ेगा तब जाकर काम चलाऊ हो सकेगा। मन मे गुप्त योजनाए बनाएंगे इनसे लाभ भी उठाएंगे लेकिन ध्यान रहे इससे किसी का अहित ना हो। संध्या पश्चात का समय दिन की तुलना में आरामदायक रहेगा लेकिन पुरानी बातों को ना कुरेदे।

मकर🐊 (भो, जा, जी, खी, खू, खा, खो, गा, गी)
आज के दिन आपके स्वभाव में दिखावा एवं ईर्ष्या अधिक रहेगी। जिस भी कार्य को करने की तैयारी करेंगे उसमे कोई न कोई टांग अढ़ायेगा लेकिन फिर भी प्रयास करना ना छोड़े आरम्भ में ही थोड़ी समस्या बनेगी लेकिन बाद में जो लोग आपके कार्यो में विघ्न डाल रहे थे वही सहयोग करने लगेंगे। पूर्व में किया परोपकार और भाग्य का साथ धन लाभ में सहायक बनेगा पर आज कार्य व्यवसाय से जितना धन मिलेगा खर्च के रास्ते पहले^ बना लेगा। आज परिजनों विशेषकर पिता से संबंध मधुर बनाये रखे इनसे कुछ ना कुछ फायदा हो सकता है। पैतृक कार्यो में भी रुचि रहेगी लेकिन भागदौड़ करना अखरेगा। घरेलू सुख सुविधा में कुछ कमी अनुभव होगी। सेहत में भी छोटी मोटी संमस्या लगी रहेगी फिर भी कार्य बाधक नही बनेगी।

कुंभ🍯 (गू, गे, गो, सा, सी, सू, से, सो, दा)
आज का दिन शुभफलों की प्राप्ती कराएगा। कई दिनों से चल रही योजना अथवा मनोकामना के आज पूर्ण होने से मानसिक रूप से प्रसन्न रहेंगे लेकिन शरीर मे ठंड के कारण छोटे मोटे विकार लगे रहेंगे फिर भी दिनचार्य को ज्यादा प्रभावित नही होने देंगे। नौकरिपेशाओं के लिये भी दिन विजय दिलाने वाला रहेगा आज सहयोग की कमी रहने के बाद भी अपने पराक्रम और भाग्य का साथ मिलने से जटिल कार्यो को हल करने पर अधिकारियों की प्रशंसा के पात्र बनेंगे। व्यवसायी एवं नौकरी पेशा दोनो को ही नियमित आय से संतोष करना पड़ेगा अतिरिक्त आय बनाने के प्रलोभन से बचे अन्यथा परेशानी होगी। घर मे पति-पत्नी अथवा किसी अन्य से थोड़ी कलह के बाद ही शांति मिलेगी।

मीन🐳 (दी, दू, थ, झ, ञ, दे, दो, चा, ची)
आज आप घरेलू संबंधों अथवा कार्यो को लेकर अत्यंत लापरवाह रहेंगे घरेलू कार्य या तो भूल जाएंगे या याद रहने पर भी टालने से परिजनों से गरमा गरमी हो सकती है। संताने भी आज जिद्दी व्यवहार करेंगी जिनको पूरी करने पर खर्च करना पड़ेगा इसकारण यात्रा भी हो सकती है। कार्य व्यवसाय से आशा न होने पर भी अकस्मात धन लाभ होगा जिससे थोड़ी राहत मिलेगी ज्यादा दौड़ धूप करने से बचेंगे फिर भी किसी न किसी कारण से करनी ही पड़ेगी। घर मे छोटे भाई बहन अथवा मित्रो, नौकरों से भी बहस होगी लेकिन नतीजा कुछ नही निकलेगा। संध्या का समय शांतिदायक रहेगा एकांत में रहना पसंद करेंगे दिन की तुलना में संतोषि भी रहेगें। हाथ, कान संबंधित समस्या रह सकती है।
*〰〰〰〰〰〰〰〰〰〰〰〰〰*

🌹 *रूप- वाणी*
वो अच्छाई में भी बुराई ढूँढ लेता है, गर्व से वो खुद को विद्वान कहता है..!

🍅 *पहला सुख निरोगी काया*
*त्रिफला है अमृत:* .. शरीर में हर समय अंगों के क्षीण होने की प्रक्रिया चलती रहती है, उसे रोकने की सामर्थ्य अगर किसी में है तो वह त्रिफला में है।

📖 *नीतिदर्शन……………….*✍
*यावद् भ्रियेत जठरं तावत् स्वत्वं हि देहिनाम्।*
*अधिकं यो$भिमन्येत स स्तेनो दण्डमर्हति।।*
📝 *भावार्थ* 👉🏾 जितने से पेटभरे–सादगी से जीवन-निर्वाह हो, उतनेपर ही अधिकार है। जो उससे अधिक पर अपना अधिकार मानता है, संग्रह करता है, वह दूसरों के धनपर अधिकार मानने वाले की तरह चोर है और दण्डका पात्र है।
💐👏🏾 *सुदिनम्* 👏🏾💐
🌹………..|| *पञ्चाङ्गदर्शन* ||……….🌹
*श्रीशुभ वैक्रमीय सम्वत् २०७७ || शक-सम्वत् १९४२ || याम्यायन् || प्रमादी नाम संवत्सर|| हेमन्त ऋतु || मार्गशीर्ष कृष्णपक्ष || अमावस्या तिथि || सौम्यवासर || मार्गशीर्ष सौर २९ प्रविष्ठ (मासान्त) || तदनुसार १४ दिसम्बर २०२० ई० || नक्षत्र जेष्ठा || वृश्चिकस्थ चन्द्रमा || सोमवती अमावस्या ||*
💐👏🏾 *सुदिनम्* 👏🏾💐

🏵 *हिन्दी संकल्प पाठ* 🏵

हे परमात्मन् आपको नमन!!आपकी कृपा से मैं आज एक यज्ञ कर्म को तत्पर हूँ, आज एक ब्रह्म दिवस के दूसरे प्रहर कि जिसमें वैवस्वत मन्वन्तर वर्तमान है,अट्ठाईसवीं चतुर्युगी का कलियुग जिसका प्रथम चरण वर्तमान है,कि जिसका काल अब 5122 वर्ष चल रहा है ,सृष्टि कल्प सम्वत्सर एक अरब सतानवे करोड़ उन्तीस लाख उनन्चास हजार एक सौ बाईसवां वर्ष है,तथा वेदोत्पत्ति मानव उत्पत्ति सृष्टिसम्वत एक अरब छियानवे करोड़ आठ लाख तिरेपन हजार एक सौ बाईसवां ,विक्रम सम्वत् दो हजार सतत्तर है,दयानन्दाब्द 196वां है, सूर्य दक्षिण अयन में दक्षिण गोल में वर्तमान है ,कि ऋतु हेमन्त , मास *मार्गशीर्ष* का कृष्ण पक्ष ,तिथि – *अमावस्या* नक्षत्र – *ज्येष्ठा* आज *सोमवार* है ,अंग्रेजी तारीख 14 दिसम्बर को भरतखण्ड के आर्यावर्त देश के अंतर्गत, ..प्रदेश के ….जनपद…के ..ग्राम/शहर…में स्थित (निज घर में,या आर्यसमाज मंदिर में) मैं …अमुक गोत्र में उत्पन्न, पितामह श्री ….(नाम लें ).के सुपुत्र श्री .(पिता का नाम लें)उनका पुत्र मैं …आज सुख ,शान्ति ,समृद्धि के लिए तथा आत्मकल्याण के लिए प्रातः वेला में यज्ञ का संकल्प लेता हूँ,जिसके निर्देशक /ब्रह्मा के रूप में आप आचार्य….. श्री का वरण करता हूँ,

 

🕉️ *संस्कृत संकल्प पाठ*🕉

ओं तत्सद्।श्री व्रह्मणो दिवसे द्वितीये प्रहरार्धे वैवस्वतमन्वन्तरे अष्टाविंशतितमे कलियुगे कलिप्रथमचरणे ,{ एकोवृन्दः सप्तनवतिकोटयः एकोनत्रिंशत् लक्षाणि एकोनपञ्चाशत् सहस्राणि द्विविंशत्यधिकशततमे सृष्टयब्दे ,२०७७ {सप्तसप्ततति: उत्तर द्वी सहस्रे वैक्रमाब्दे }, शाके १९४२ दयानन्दाब्द(षण् णवती उत्तर शततमे) १९६ , रवि दक्षिणायणे, दक्षिण गोले, हेमंत ऋतौ, *मार्गशीर्ष मासे कृष्ण पक्षे तिथि अमावस्या ,ज्येष्ठा नक्षत्रे , सोमवासरे ,तदनुसार 14 दिसम्बर 2020*

हिंदू धर्म में पवित्र नदियों में स्नान और दान को बहुत ही महत्वपूर्ण माना गया है. पंचांग के अनुसार 14 दिसंबर सोमवार को मार्गशीर्ष यानि अगहन मास की कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि है. सोमवार के दिन अमावस्या की तिथि पड़ने के कारण इसे सोमवती अमावस्या कहा जाता है. इसके साथ ही इसे दर्श अमावस्या और मार्गशीर्ष अमावस्या भी कहते हैं.

सोमवती अमावस्या पर पंचग्रही योग बन रहा है

पंचांग और ज्योतिष गणना के अनुसार 14 दिसंबर को पंचग्रही योग का निर्माण हो रहा है. इसलिए इस वार की सोमवती अमावस्या दान और पुण्य के लिए अत्यंत ही शुभ मानी जा रही है।

सूर्य ग्रहण भी इसी दिन लग रहा है. इस ग्रहण को साल का आखिरी सूर्य ग्रहण कहा जा रहा है. पंचांग के अनुसार ग्रहण के बाद सूर्य अपनी राशि को बदलेंगे. इस दिन सूर्य वृश्चिक राशि से निकल कर धनु राशि में आ जाएंगे. इस परिवर्तन को धनु संक्रांति कहा जाता है.

 

सोमवती अमावस्या पर ग्रहों की स्थिति
ज्योतिष गणना के मुताबिक सोमवती अमावस्या पर पर वृश्चिक राशि में सूर्य, चंद्र, बुध, शुक्र और केतु विराजमान रहेंगे.

सोमवती अमावस्या आज
**********************
इस दिन क्या करें और क्या नहीं करें?
=======================
इस साल सोमवती अमावस्या 14 दिसंबर, सोमवार को मनाई जाएगी। पुराणों के अनुसार, सोमवती अमावस्या के दिन स्नान, दान-पुण्य और दीपदान करने का बहुत महत्व है। इस दिन गंगा या अन्य किसी पवित्र नदी अथवा जलकुंड में स्नान करना बहुत फलदाई है। परन्तु इस साल कोरोना महामारी के चलते नदियों में स्न्नान करना संभव न हो तो घर पर सूर्योदय से पूर्व नहाने के जल में गंगा जल डालकर स्न्नान कर सकते हैं। मान्यता है कि सोमवती अमावस्या पर इन कामों को करने से आपके जीवन में सुख-सौभाग्य की बरसात होगी, वहीं कुछ काम ऐसे है जिन्हें इस दिन करने से आपका जीवन कष्टों से भर सकता है।

सूर्योदय से पूर्व स्नान :-
इस दिन गंगाजी या अन्य पवित्र नदियों में स्नान करना बहुत पुण्यकारी माना गया है। स्नान का उत्तम समय सूर्योदय से पूर्व माना जाता है। मान्यता है कि सोमवती अमावस्या पर विधिवत स्न्नान करने से भगवान विष्णु की कृपा हमेशा बनी रहती है। यदि आप नदियों में स्नान करने नहीं जा सकते तो आप घर में ही थोड़ा सा गंगाजल नहाने के पानी में मिलाकर स्नान करें। मान्यता यह भी है कि इस दिन विधिवत स्नान करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है।

उगते हुए सूर्य को जल अर्घ्य :-
पदमपुराण के अनुसार पूजा, तपस्या, यज्ञ आदि से भी श्री हरि को उतनी प्रसन्नता नहीं होती, जितनी कि प्रातः स्नान कर जगत को प्रकाश देने वाले भगवान सूर्य को अर्घ्य देने से होती है। इसलिए पूर्व जन्म और इस जन्म के सभी पापों से मुक्ति और भगवान सूर्य नारायण की कृपा प्राप्त करने के लिए प्रत्येक मनुष्य को नियमित सूर्य मंत्र का उच्चारण करते हुए सूर्य को अर्घ्य अवश्य प्रदान करना चाहिए।

सोमवती अमावस्या पर करें पूर्वजों की आराधना

पीपल की पूजा:-

माना जाता है कि अमावस्या के दिन पीपल के वृक्ष में पितरों का वास होता है। इस दिन पीपल और भगवान विष्णु का पूजन किया जाए तो सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। लक्ष्मीजी की कृपा पाने के लिए इस दिन मीठे जल में दूध मिलाकर चढ़ाएं, क्योंकि इस दिन पीपल के पेड़ पर मां लक्ष्मी का वास माना जाता है। पूजन के बाद पीपल की 11 या 21 बार परिक्रमा करके जीवन में आने वाली सभी समस्याएं खत्म होने के लिए प्रार्थना करें।

दान-पुण्य करना है लाभकारी:-

इस दिन अन्न, दूध, फल, चावल, तिल और आवंले का दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है। गरीबों, साधु, महात्मा तथा ब्राह्मणों को भोजन करवाना चाहिए और उन्हें कम्बल आदि ऊनी कपड़े दान करने चाहिए। स्नान- दान आदि के अलावा इस दिन पितृ श्राद्ध करने से परिवार पर पितरों की कृपा बनी रहेगी।

इस दिन क्या न करें?

आज के दिन नहाते समय और नहाने से पहले तक कुछ न बोलें, हो सके तो आज के दिन कुछ समय के लिए मौन धारण अवश्य करें।

सोमवती अमावस्या के दिन भूलकर भी तामसिक भोजन जैसे मांस, मदिरा, अंडा, प्याज, लहसुन का प्रयोग न करें।

घर में लड़ाई-झगड़ा नहीं करें। झगड़े और विवादों से बचना चाहिए।

झूठ न बोलें और किसी को कड़वे वचन न कहें।

आज के दिन शरीर पर तेल नहीं लगाना चाहिए और तेल मालिश नहीं करें।

इस दिन स्त्री-पुरुषों को ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए।

दान और पुण्य का महत्व

ग्रहों से बनने वाला योग और शुभ मुहूत में स्नान और दान करने से कई प्रकार की बाधाओं से मुक्ति मिलेगी. वहीं जीवन में सुख शांति आइएगी. इस दिन पितरों की भी पूजा की जाती है. इस दिन पूजा करने से पितरों का भी आर्शीवाद प्राप्त होता है. इस दिन पितरों को तर्पण किया जाता है.

इन बातों का ध्यान रखें

मार्गशीर्ष मास को भगवान श्रीकृष्ण का सबसे प्रिय मास कहा गया है। मार्गशीर्ष मास को अगहन मास भी कहा जाता है. इस मास में पवित्र नदी में स्नान करने से कई प्रकार के रोगों से मुक्ति मिलती है. मार्गशीर्ष मास में शंख पूजा का भी विशेष महत्व बताया गया है. इस दिन व्रत रखने से भी प्रकार की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।

 जम्बूद्वीपे,

भरतखण्डे आर्यावर्तान्तर् गते ………प्रदेशे ,……..जनपदे.. ..नगरे……गोत्रोत्पन्नः….श्रीमान्.(पितामह)….(पिता..).पुत्रस्य… अहम् .'(स्वयं का नाम)….अद्य प्रातः कालीन वेलायाम् सुख शान्ति समृद्वि हितार्थआत्मकल्याणार्थम् ,रोग -शोक निवारणार्थम् च यज्ञ कर्मकरणाय भवन्तम् वृणे।