उत्तराखण्ड में खास तरह की चलेंगी बसें, 15 साल पुराने वाहन होंगे बाहर

 

बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए राज्य में इलेक्ट्रिक बसें चलाने की योजना पर काम किया जा रहा है। सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के अनुसार, 15 साल से ज्यादा पुराने वाहनों को बाहर करने पर भी विचार किया जाएगा। परिवहन मंत्री यशपाल आर्य ने गुरुवार को भाजपा मुख्यालय में ये बात कही। उन्होंने फिलिपींस की राजधानी मनीला में प्रदूषण नियंत्रण को किए गए कामों का उदाहरण देते हुए कहा कि इसके लिए जन जागरण जरूरी है। हर व्यक्ति अगर प्रदूषण को लेकर सजग रहेगा तो वातावरण सुरक्षित रहेगा। आर्य ने कहा कि जल्द ही हरिद्वार से देहरादून के लिए गैस पाइपलाइन बिछाई जाएगी। ताकि यहां सीएनजी वाहन शुरू किए जा सकें। प्रदूषण से बचाव के लिए पुराने टू स्ट्रोक विक्रम और बसों के बदले फोर स्ट्रोक इंजन वाले विक्रम और बसें चलाने पर भी सरकार विचार करेगी।