उत्तराखंड के हर ब्लाक में होंगे दो अटल आदर्श विद्यालय, जबकि सभी 662 न्याय पंचायतों में होंगे काॅमन सर्विस सेंटर

*हर ब्लाॅक में बनेंगे दो-दो अटल आदर्श विद्यालय*

 

*जल्द लाई जाएगी नई खेल नीति, खेल विशेषज्ञों और खिलाड़ियो से लिए जा रहे सुझाव*

*खेल विज्ञान केंद्र, खेल विकास निधि और मुख्यमंत्री खिलाड़ी उन्नयन छात्रवृत्ति के मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए।*

 

*मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सचिवालय में विद्यालयी शिक्षा और खेल विभाग की समीक्षा की।*

 

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत  ने निर्देश दिए हैं कि प्रत्येक ब्लाॅक में दो-दो अटल आदर्श विद्यालय स्थापित किए जाएं। राज्य की नई खेल नीति के बारे में खेल विशेषज्ञों, खिलाड़ियों, और आम जन से सुझाव प्राप्त किए जाएं और जल्द से जल्द से कैबिनेट में प्रस्तुत किया जाए। खेल में तकनीक के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए खेल विज्ञान केंद्र की स्थापना की जाए। खेल विकास निधि बनाई जाए। बच्चे कम उम्र से ही खेलों में प्रतिभाग के लिए प्रोत्साहित हों, इसके लिए  मुख्यमंत्री खिलाड़ी उन्नयन छात्रवृत्ति दी जाए। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सचिवालय में विद्यालयी शिक्षा और खेल विभाग की समीक्षा की।

 

*अटल आदर्श विद्यालयों में हिंदी व अंग्रेजी दोनो माध्यम का विकल्प हो*

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि अटल आदर्श विद्यालयों की स्थापना, उच्च गुणवत्ता की शिक्षा के सभी मानक पूरे करते हुए की जाए। इनसे ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले गरीब बच्चों को गुणवत्तापरक शिक्षा के समान अवसर मिल सकेंगे। इन विद्यालयों में हिंदी व अंग्रेजी दोनों माध्यमों का विकल्प बच्चों को उपलब्ध हो। स्पोकन इंग्लिश पर विशेष ध्यान दिया जाए। विज्ञान की प्रयोगशाला, सभी आवश्यक उपकरणों से सुसज्जित हो।

 

*174 विद्यालय किए गए अटल आदर्श विद्यालय हेतु चिन्हित*

 

बैठक में बताया गया कि 174 विद्यालयों को अटल आदर्श विद्यालय के रूप में विकसित करने के लिए चिन्हित कर लिया गया है। इनमें से 108 विद्यालयों में वर्चुअल क्लास की सुविधा उपलब्ध है। मुख्यमंत्री ने कहा कि जहां भी अटल आदर्श विद्यालय बनाए जाएं वहां स्थानीय स्थापत्य और सामग्री का प्रयोग किया जाए। बैठक में थानो में प्रस्तावित अटल आदर्श विद्यालय की डिजायन आदि से भी अवगत कराया गया।

*ग्रामीण खेल प्रतिभाओं को प्रेरित करे नई खेल नीति*

 

मुख्यमंत्री ने राज्य की नई खेल नीति के बारे में खेल विशेषज्ञों, खिलाड़ियों, और आम जन से सुझाव प्राप्त कर जल्द से जल्द से कैबिनेट में प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। खेल नीति इस प्रकार की हो जिससे ग्रामीण खेल प्रतिभाओं को आगे बढ़ने के अधिक अवसर मिलें।

 

*खेल अवस्थापना के लिए प्राईवेट सेक्टर केा प्रोत्साहित किया जाए*

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्राईवेट सेक्टर को खेल के क्षेत्र में आने के लिए प्रोत्साहित किया जाए। बच्चे टीवी, मोबाईल की दुनिया से बाहर निकलकर खेल के मैदान में आएं। खेलों में तकनीक के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए खेल विज्ञान केंद्र की स्थापना की जाए।

 

*खेल नीति में बाालिकाओं के लिए हों विशेष प्रावधान*

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि खेल कुम्भ में नए खेल शामिल किए जाएं। बालिकाओं के लिए खेल नीति में विशेष प्रावधान किए जाएं। नेशनल लेवल और इंटरनेशनल लेवल पर प्रतिभाग करने वाले खिलाड़ियों को सुविधाएं दी जाएं। खेलों को बढ़ावा देने के लिए खेल विकास निधि का निर्माण किया जाए। दिव्यांग खिलाड़ियों की आर्थिक सहायता के लिए व्यवस्था की जाए।

 

*खिलाड़ियो की समस्याओं के निस्तारण के सिंगल विंडो सिस्टम*

 

मुख्यमंत्री ने आठ वर्ष से 14 वर्ष के बच्चों के लिए मुख्यमंत्री खिलाड़ी उन्नयन छात्रवृत्ति की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। खिलाड़ियों की समस्याओं के समाधान के लिए सिंगल विंडो सिस्टम विकसित किया जाए। व्यावसायिक शिक्षा संस्थानों और राजकीय विभागों में उत्कृष्ट खिलाड़ियों के लिए कोटा इस प्रकार का हो जिससे खिलाड़ियों को प्रोत्साहन मिले।

बैठक में विद्यालयी शिक्षा एवं खेल मंत्री श्री अरविंद पाण्डेय, सचिव श्री आर मीनाक्षी सुन्दरम, श्री बृजेश कुमार संत, निदेशक शिक्षा श्री आर के कुंवर सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
[10/5, 17:56] Suchana Vigyapan Ddun: मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि ‘’local for vocal’’ के अन्तर्गत स्थानीय उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराने हेतु काॅमन सर्विस सेंटर के माध्यम से मंच उपलब्ध कराया जा सकता है तथा राज्य सरकार की ग्रामीण ग्रोथ सेंटर की संकल्पना को साकार करने में भी काॅमन सर्विस सेंटर महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। युवाओं को उन्हीं की ग्राम पंचायतों से विश्व स्तरीय शिक्षण संस्थानों तथा अन्तरराष्ट्रीय संस्थाओं द्वारा चलाये जा रहे आॅनलाईन शैक्षिक कार्यक्रमों हेतु भी काॅमन सर्विस सेंटर के माध्यम से मंच उपलब्ध कराया जाये। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सचिवालय में पंचायतीराज विभाग की समीक्षा की।
पंचायतीराज विभाग द्वारा बैठक के दौरान डिजिटल इण्डिया कार्यक्रम तथा ई-गवर्नेंस में हेल्प डेस्क प्रणाली तथा आईटीडीए के माध्यम से CSC-SPV के द्वारा सभी 662 न्याय पंचायतों में काॅमन सर्विस सेंटर को प्रारम्भ किये जाने की योजना का प्रस्तुतिकरण किया गया। जानकारी दी गई कि हेल्प डेस्क प्रणाली के तहत केन्द्रीय मध्यस्थ सहायता सेवा प्रणाली विकसित किया जाना प्रस्तावित है, जिसके अन्तर्गत एक केन्द्रीय नियंत्रण प्रणाली तैयार की जायेगी, जो विभागीय अधिकारियों एवं स्थानीय ग्रामीण निकायों को सहायता एवं सेवा प्रदान करेगी। हेल्प डेस्क प्रणाली के मुख्य कार्यों में त्रिस्तरीय पंचायतों में प्रतिनिधियों एवं जनसामान्य हेतु हेल्प डेस्क सेवा तथा रेखीय विभागों के साथ समन्वय हेतु तंत्र का विकास सम्मिलित है। पंचायतों मंे काॅमन सर्विस सेंटर के माध्यम से ई-डिस्ट्रिक्ट सेवाओं के तहत प्रमाण पत्र से सम्बन्धित विभिन्न सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं।
इस अवसर पर पंचायतीराज मंत्री श्री अरविन्द पाण्डेय, सचिव पंचायतीराज श्री हरिचन्द्र सेमवाल, निदेशक आईटीडीए श्री अमित सिन्हा, अपर सचिव वित्त श्री भूपेश तिवारी, एवं अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।