✍️हरीश मैखुरी
बिगब्रेकिंग गैरसैण बनेगा प्रदेश का तीसरा मंडल, नई कमिश्नरी में शामिल होंगे चमोली रुद्रप्रयाग बागेश्वर और अल्मोड़ा जिले होंगे शामिल।उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बजट भाषण शुरू किया तो सबसे पहले उन्होंने सुरक्षा दिवस की बधाई दी, और कहा कि ग्रीष्मकालीन राजधानी में पहला बजट पढ़ रहा हूँ। उन्होंने अमर शहीदों आंदोलकारियों को नमन किया। उन्होंने कहा कि हमने कोरोना काल मे कई क्षेत्रों में छूट दी है। मुख्यमंत्री ने कहा कि रैणी की आपदा में हमने त्वरित कार्यवाही की
ओर आपदा के प्रभाव को न्यूनीकृत किया और सीमित कर दिया। उत्तराखण्ड में रेल नेटवर्क आल वेदर रोड डबल इंजन का ही परिणाम है
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने 57400 करोड़ का बजट पेश किया इसका विवरण रखते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 21 – 22 में कुल प्राप्तियां
57024 करोड़ 22 लाख अनुमानित हैं
जिसमे 44151 करोड़ 24 लाख रुपये राजस्व
12872 करोड़ 98 लाख पूंजीगत प्राप्तियां है
कृषि एवं सहायक गतिविधियां सम्मिलित हैं मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत भराड़ीसैंण (गैरसैंण) में वित्तीय वर्ष 2021-22 का बजट पेश करने के लिए जाते हुए।
हमने कृषि एवं कृषि से सम्बन्धित सहायक गतिविधियों से जुड़े हुए समस्त पहलुओं को समग्रता से समझने का एक प्रयास किया है। हम कृषकों की आय को दोगुना करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इस हेतु आवश्यक नीतिगत व पूंजीगत प्रावधानों के लिए सदैव तत्पर रहे हैं। इसी क्रम में विगत 4 वर्षों में हमारी सरकार ने कृषि, औद्यानिकी, दुग्ध विकास, सहकारिता, पशुपालन, मत्स्य, जलागम, सिंचाई, वन एवं पर्यावरण, खाद्य तथा ग्राम्य विकास आदि विभागों के तत्वावधान में आवश्यक नीतियां यथा मुख्य मंत्री राज्य कृषि विकास योजना, जैविक कृषि एक्ट, नर्सरी एक्ट एवं एकीकृत आदर्श कृषि ग्राम योजना निरूपित की है।अध्यक्ष महोदय, को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह ने कहा कि कृषक भाईयों-बहनों की सहायता के लिए प्रदेश के 8.82 लाख कृषकों को निःशुल्क मृदा स्वास्थ्य कार्ड उपलब्ध कराए गए हैं। मृदा परीक्षण की संस्तुतियों को अपनाने से वर्ष 2017-18 से वर्तमान तक 1.17 लाख मैट्रिक टन उर्वरकों की कम खपत हुयी, जिससे 202 करोड़ रूपये अनुदान की बचत हुयी। उत्पादकता वृद्धि के साथ-साथ भूमि की उर्वरकता में भी सुधार देखा जा रहा है।
जैविक कृषि के महत्व को समझते हुए इसके प्रोत्साहन हेतु प्रदेश में जैविक कृषि अधिनियम 2019 लागू किया गया है। गत तीन वर्षों में जैविक कृषि के क्षेत्रफल में निरन्तर वद्धि हुई है। वर्तमान में जैविक कृषि के अन्तर्गत 2 लाख 13 हजार हैक्टेयर भूमि आच्छादित है, जो कुल कृषि क्षेत्रफल का 33 प्रतिशत है।
माननीय अध्यक्ष महोदय, हम परम्परागत कृषि के विकास के लिए भी सतत् प्रयत्नशील हैं। इसी क्रम में परम्परागत कृषि विकास योजना द्वितीय चरण (वर्ष 2018-19 से 2020-21) में 3 हजार 900 क्लस्टरों के 78 हजार हैक्टेयर भूमि में संचालित की जा रही है वर्तमान में योजना में 1 लाख 20 हजार मैट्रिक टन खाद्यान्न एवं 1 लाख 30 हजार मैट्रिक टन फल एवं सब्जियों का उत्पादन हुआ है। इस आय-व्ययक में योजनान्तर्गत 87 करोड़ 56 लाख रूपये की धनराशि का प्रावधान किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने पिछले वर्ष आज ही के दिन शहीदों और राज्य आंदोलनकारियों के सपने को सर्वोच्च सम्मान देकर व जनभावनाओं का आदर करते हुए गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित किया था।
इस एक वर्ष में गैरसैंण के विकास के लिए कई कार्य तथा घोषणाएं की गई हैं, जिनमें आगामी दस वर्षों में ₹25 हजार करोड़ से क्षेत्र का विकास, उत्तराखंड भाषा विकास संस्थान की स्थापना, चाय विकास बोर्ड के मुख्यालय की स्थापना, जियो ओएफसी नेटवर्किंग का विस्तार, पंपिंग पेयजल पाइप लाइन का निर्माण, सीएचसी में 50 बेड्स के सब डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल की स्थापना, ब्लॉक में कोल्ड स्टोरेज एवं फूड प्रोसेसिंग प्लांट को स्वीकृति आदि प्रमुख हैं।
गैरसैंण के चहुंमुखी विकास के लिए हमारी सरकार पूरी तरह से कटिबद्ध है। #Gairsainविधानसभा में बजट पेश करने के दौरान पेयजल व सिंचाई के लिए कई प्रावधान किए। इसके अंतर्गत जल जीवन मिशन ग्रामीण के लिए ₹667.76 करोड़, पेरी अर्बन योजना के लिए ₹328 करोड़, जमरानी बांध परियोजना के लिए ₹240 करोड़ और सौंग पेयजल योजना के लिए ₹150 करोड़ का प्रावधान किया है।विधानसभा में बजट पेश करने के दौरान पेयजल व सिंचाई के लिए कई प्रावधान किए। इसके अंतर्गत जल जीवन मिशन ग्रामीण के लिए ₹667.76 करोड़, पेरी अर्बन योजना के लिए ₹328 करोड़, जमरानी बांध परियोजना के लिए ₹240 करोड़ और सौंग पेयजल योजना के लिए ₹150 करोड़ का प्रावधान किया है।भराड़ीसैंण विधानसभा में बजट पेश करने के दौराना गैरसैंण को राज्य का तीसरा मंडल (कमिश्नरी) बनाने की घोषणा की। भराड़ीसैंण राजधानी क्षेत्र के विकास के लिए एक माह में टाउन प्लानर की नियुक्ति के लिए टेंडर प्रक्रिया होगी। नई बनाई गई नगर पंचायतों की स्थापना के लिए 1-1 करोड़ रूपए धनराशि की घोषणा की गई।